6 फीट की दूरी पर खड़े होने के बाद भी लोगों में फैल रहा है कोरोनावायरसः सीडीसी
नई दिल्ली। अमेरिका की शीर्ष सार्वजनिक स्वास्थ्य एंजेसी एक ताजा बयान में कहा है कि इसके सबूत मिले हैं कि छह फीट की दूरी पर खड़े होने के बाद भी लोगों में कोरोना फैल रहा है। हालांकि एजेंसी के अधिकारियों ने वायरस के ऐसे संचरण को असमान्य बताते हुए कहा है कि यह खासकर तब संभव होता है जब घर के अंदर या बंद जगहों पर वेंटिलेशन या हवा के आने जाने की व्यवस्था अच्छी नहीं होती है। हालांकि यूएस की टॉप हेल्थ एजेंसी सीडीसी ने कोरोना वायरस के हवा में फैलने वाली बात के प्रकाशन के बाद फिर उसे हटा दिया गया था।
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नए कोरोनावायरस के हवा में फैलने को लेकर जारी है वैज्ञानिकों में बहस
गौरतलब है नए कोरोनावायरस के हवा में फैलने को लेकर वैज्ञानिकों में लगातार बहस जारी है। इसको लेकर तमाम शोधकर्ताओं के अलग-अलग तर्क हैं, लेकिन अमेरिका के रोग निंयत्रण और रोकथाम केंद्र यानी सीडीसी ने सोमवार को जारी एक बयान में एक नए दिशा-निर्देश में कोरोना के लिए जिम्मेदार सार्स-सीओवी-2 वायरस को लेकर कहा है कि कभी-कभी यह वायरस हवा से भी फैल सकता है। सीडीसी के मुताबिक वायरस हवा में कुछ मिनटों से लेकर कई-कई घंटों तक जीवित रह सकता है।
खांसने या छींकने पर पैदा होने वाली छोटी बूंदे संचरण के पर्याप्त होती हैं
सीडीसी का कहना है कि कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों द्वारा खांसने, छींकने या बात करने पर पैदा होने वाली संक्रामक छोटी-छोटी बूंदे, कण या एरोसोल की मात्रा वायरस के संचरण के पर्याप्त होती हैं। हालांकि यह चेतावनी सीडीसी ने पहले ही दे दी थी और संक्रमण से बचाव के लिए 6 फीट की सोशल डिस्टेंसिंग का नियम तय किया था। हालांकि कई विशेषज्ञों ने सीडीसी द्वारा जारी अपडेटेड दिशा-निर्देश का गलत बताते हुए कहा कि सीडीसी के संकेत से लगता है कि वायरस अधिक आसानी से फैल सकता है। उन्होंने सुझाव दिया कि लोगों को लंबे समय तक बाहरी जगहों पर मास्क पहनना चाहिए।
कोई भी अपना मास्क 6 फीट पर नहीं उतार सकते हैंः डा. डोनाल्ड मिल्टन
यूनिवर्सिटी ऑफ मैरीलैंड स्कूल ऑफ पब्लिक के डा. डोनाल्ड मिल्टन ने कहा कि वायरस हवा के माध्यम से ट्रांसमिशन कर रहा है और कोई भी 6 फीट से ज्यादा सुरक्षित नहीं है। यानी लोग अपना मास्क 6 फीट पर नहीं उतार सकते हैं। हालांकि महीनो पहले सीडीसी ने कहा था कि वायरस मुख्य रूप से छोटे हवाई बूंदों के माध्यम से तब फैलता है, जब एक संक्रमित व्यक्ति खांसता या छींकता है। सीडीसी का नया दिशा निर्देश उसी विचार के इर्द-गिर्द तैयार किया गया है।
हवा से कोरोना फैलने के बारे में स्पष्ट सार्वजनिक दिशा-निर्देश दिया गया है
गौरतलब है शोधकर्ताओं का एक छोटे समूह में शामिल मिल्टन ने सोमवार को साइंस में प्रकाशित एक पत्र किया है, जिसमें हवा से कोरोनावायरस के फैलने के बारे में स्पष्ट सार्वजनिक दिशा-निर्देश दिया गया है। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य अधिकारियों को रोग फैलाने वाले हवाई कणों और बूंदो के आकार के बारे में स्पष्ट भाषा का इस्तेमाल करने की जरूरत है और सीधा कहना चाहिए कि छोटे एरोसोल लोगों को संक्रमित करने में बड़ी भूमिका निभा सकते हैं। वहीं, वर्जीनिया टेक के लिनसी मार ने कहा कि मास्क और बेहतर वेंटिलेशन घर के अंदर महत्वपूर्ण हैं, लेकिन वो घर के बाहर भी महत्वपूरण हो सकते हैं।