नौका से अटलांटिक महासागर पार करेगी 16 वर्षीय क्लाइमेट एक्टिविस्ट ग्रेटा थनबर्ग
बेंगलुरु। पिछले साल स्वीडन के संसद भवन के सामने स्कूल स्ट्राइक करने वाली क्लाइमेट एक्टिविस्ट ग्रेटा थनबर्ग छोटी सी उम्र में एक बड़ा काम करने जा रही हैं। 16 वर्षीय ग्रेटा अगले महीने नौका यात्रा शुरू करेंगी। उनकी यह यात्रा किसी नदी या झील पर नहीं बल्कि अटलांटिक महासागर में होगी, जिसमें वो यूरोप से उत्तरी अमेरिका तक का सफर नौका से तय करेंगी। खास बात यह है कि यह नौका किसी डीजल या पेट्रोल इंजन से नहीं बल्कि सौर्य ऊर्जा से चलेगी।
ग्रेटा थनबर्ग ने ट्विटर पर अपने इस मिशन को लोगों के साथ साझा किया। उन्होंने लिखा कि उन्हें 23 सितंबर को न्यूयॉर्क में आयोजित होने जा रहे यूनाइटेड नेशन्स क्लाइमेट एक्शन समिट में आमंत्रित किया गया है। इस मौके पर 20 से 27 सितंबर के बीच वो अमेरिका में क्लाइमेट चेंज की वजह से दुनिया भर में हो रहे नुक्सान के बारे में बात करेंगी साथ ही संयुक्त राष्ट्र के शिखर सम्मेलन में उन्हें अपनी बात रखने का मौका मिलेगा। सम्मेलन में शामिल होने के लिये नौका से जायेंगी जो सौर्य ऊर्जा से चलती है। अगस्त के मध्य में उनकी यात्रा शुरू होगी। इस यात्रा के दौरान अपनी टीम के साथ यूरोप से उत्तरी अमेरिका तक का समुद्री सफर तय करेंगी।
Good news!
— Greta Thunberg (@GretaThunberg) July 29, 2019
I’ll be joining the UN Climate Action Summit in New York, COP25 in Santiago and other events along the way.
I’ve been offered a ride on the 60ft racing boat Malizia II. We’ll be sailing across the Atlantic Ocean from the UK to NYC in mid August.#UniteBehindTheScience pic.twitter.com/9OH6mOEDce
कौन हैं ग्रेटा थनबर्ग
सोलह वर्षीय ग्रेटा थनबर्ग की छात्रा है जो स्वीडन में रहती है। अगस्त 2018 में ग्रेटा ने स्वीडन के संसद भवन के सामने स्कूल स्ट्राइक का ऐलान किया था। उन्होंने अपने देश की सरकार से पेरिस एग्रीमेंट के समझौते की शर्तों का पूरी तरह पालन करने की मांग की, ताकि आम लोगों पर पड़ रहे प्रदूषण एवं क्लाइमेट चेंज के प्रभाव कम हो सकें। देखते ही देखते स्कूल स्ट्राइक की चर्चा पूरी दुनिया में होने लगी और ग्रेटा को 150 देशों के स्कूलों से समर्थन मिला। 20 लाख से अधिक लोगों ने मार्च और मई में आयोजित स्कूल स्ट्राइक में शिरकत की। ग्रेटा हर शुक्रवार धरने पर बैठती और लोग खुद-ब-खुद उनके साथ जुड़ जाते।
पढ़ें- कॉफ़ी, आलू और बीयर के बिना दुनिया कैसी होगी
ग्रेटा स्टॉकहोम में अपने परिवार के साथ रहती हैं, और 2018 में उन्होंने नवीं कक्षा पास की है। लेकिन अपने पर्यावरण से जुड़े अभियान को विश्व स्तर तक ले जाने के लिये उन्होंने पढ़ाई को एक साल का ब्रेक दिया है। आपको बता दें कि ग्रेटा पोलैंड में आयोजित यूएन क्लाइमेट समिट में अलग-अलग देशों के प्रतिनिधियों को संबोधित कर चुकी हैं। ग्रेटा को नोबेल पीस प्राइज़ के लिये नामित किया जा चुका है साथ ही विश्व प्रसिद्ध टाइम मैगजीन ने 2019 में 100 सबसे प्रभावशाली लोगों में गेटा को शामिल किया था।