ब्रिटेन में तेजी से बढ़ रही LGBT समुदाय की संख्या, जानिए भारत में कितने हैं इस समुदाय के लोग
लंदन, 26 मईः ब्रिटेन में गे, लेस्बियन या उभयलिंगी के रूप में पहचाने जाने वाले युवा व्यस्कों की संख्या में भारी इजाफा हुआ है। बीते चार वर्षों में यह संख्या बढ़कर दोगुनी हो गयी है। ऑफिस फॉर नेशनल स्टेटिक्स की रिपोर्ट के मुताबिक 2014 के बाद से यह संख्या लगातार बढ़ती जा रही है।

4 साल में दोगुना हुआ आंकड़ा
2020 में एलजीबीटी के रूप में पहचाने जाने वाले युवा व्यस्कों की संख्या 8 फीसदी दर्ज की गई। वहीं, 4 साल पहले 2016 में यह आंकड़ा महज 4.1 फीसदी था। ऑफिस फॉर नेशनल स्टेटिक्स की रिपोर्ट के मुताबिक 2014 के बाद से यह संख्या लगातार बढ़ती जा रही है। लंदन में एलजीबीटी समुदाय की संख्या सबसे अधिक है वहीं, पूर्वी इंगलैंड में यह आंकड़ा सबसे कम 1 फीसदी है।

अमेरिका में भी बढ़ रही संख्या
एक रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिका में खुद को एलजीबीटी मानने वाले वयस्कों की संख्या 7.1 प्रतिशत है। 2012 के मुकाबले यह आंकड़ा दोगुना हो गया है। 2012 में जब सर्वेक्षण शुरू हुआ था तब खुद को एलजीबीटी बताने लोग 3.5 प्रतिशत थे और तब से यह संख्या लगातार बढ़ रही है। आंकड़ों को और बारीकी से देखने पर पता चलता है कि कम उम्र के वयस्कों में खुद को एलजीबीटी मानने वाले लोग ज्यादा हैं।

भारत में लगभग 10 करोड़ लोग एलजीबीटी समुदाय के
देश में एलजीबीटी समुदाय से संबंधित कितने लोग हैं, इसकी वास्तविक जानकारी उपलब्ध नहीं है। हालांकि वर्ष 2018 में सुप्रीम कोर्ट द्वारा दिए गए निर्णय के बाद ब्रिटिश अखबार द गार्डियन ने एक रिपोर्ट प्रकाशित की थी। जिसके मुताबिक, 2018 में भारत की कुल आबादी के 8 फीसदी लोग एलजीबीटी समुदाय से संबंधित थे। यह आंकड़ा लगभग 10 करोड़ 40 लाख है।

क्या है एलजीबीटी
एलजीबीटी एक संयुक्त नाम है जो लेस्बियन, गे, बायसेक्सुअल और ट्रांसजेडर को मिलाकर बना है। ऐसे लोग जो दूसरे सेक्स के प्रति आकर्षित नहीं होते हैं, बल्कि अपने ही जेंडर की तरफ जिनका झुकाव होता है वे गे या लेस्बियन कहे जाते हैं। स्त्री का स्त्री के प्रति झुकाव लेस्बियन कैटगिरी, पुरुष का पुरुष के प्रति झुकाव गे कैटगिरी में आता है। वहीं, ऐसे लगो जो पुरुष और महिला दोनों की तरफ आर्कषित होते हैं वे बायसेक्सुअल कहे जाते हैं। कुछ लोग मेडिकल साइंस की मदद से सर्जरी द्वारा सेक्स चेंज करा लेते हैं जिन्हें ट्रांसजेडर कहा जाता है।