खुद को हिटलर का पोता साबित करने की कोशिश में डीएनए टेस्ट करा रहा 60 वर्ष का शख्स
फ्रांस में इन दिनों फिलीपी लॉरेट अपना डीएनए टेस्ट कराने में व्यस्त हैं। हालांकि डीएनए टेस्ट कोई नई बात नहीं है लेकिन लॉरेट यह साबित करने के लिए डीएनए टेस्ट करा रहे हैं कि वह हिटलर के पोते हैं। इस डीएनए टेस्ट के लिए लॉरेट की लार के सैंपल को संग्रहालय में रखे जबड़े और खोपड़ी से मैच कराया जाएगा।
पेरिस। फ्रांस में इन दिनों फिलीपी लॉरेट अपना डीएनए टेस्ट कराने में व्यस्त हैं। हालांकि डीएनए टेस्ट कोई नई बात नहीं है लेकिन लॉरेट यह साबित करने के लिए डीएनए टेस्ट करा रहे हैं कि वह हिटलर के पोते हैं। इस डीएनए टेस्ट के लिए लॉरेट की लार के सैंपल को संग्रहालय में रखे जबड़े और खोपड़ी से मैच कराया जाएगा। लॉरेट का मानना है कि उसके पिता जीन मैरी लॉरेट हिटलर के नाजायज बेटे हैं और द्वितीय विश्व युद्ध के बहुत पहले उनका अस्तित्व दुनिया में आया था। लॉरेट की उम्र इस समय 62 वर्ष है और मानते हैं कि उनकी दादी शैरलॉट लोबजोइ का हिटलर के साथ कुछ समय तक के लिए अफेयर था। उस समय हिटलर सिर्फ एक कॉरपोरल थे और सन् 1916 की गर्मियों में उत्तरी फ्रांस में थे।
तो खत्म हो जाएगा रहस्य
रूस के सरकारी टीवी चैनल एनटीवी की ओर लॉरेट का डीएनए सैंपल लिया गया है। इस सैंपल को मॉस्को लाया गया है। यहां पर इसका परीक्षण किया जाएगा। हिटलर के अवशेषों को स्टालिन की सेना ने हासिल किया था जिसने सन् 1945 को बर्लिन बंकर पर धावा बोला था। इस चैनल से लॉरेट ने कहा है कि रूस उसकी मदद करे। लॉरेट को कहीं न कहीं अपने दिमाग में इस बात को मान चुके हैं कि वह हिटलर के पोते हैं और इसे साबित करने के लिए उन्हें डीएनए टेस्ट की भी जरूरत नहीं है। लेकिन अगर डीएनए टेस्ट होता है तो उनकी बात को समर्थन मिल जाएगा। लॉरेट कहते हैं कि हिटलर पर जारी रहस्य खत्म हो सकता है और अब सब-कुछ पर रूस पर निर्भर करता है। लॉरेट कहते कि मुझे हमेशा से थोड़ा शक था। अगर डीएनए टेस्ट निगेटिव होता है तो फिर कुछ नहीं हो सकता है। अगर पॉजिटिव होता है तो फिर उसकी बात सही साबित हो सकती है।