Year Ender 2018: 2018 में कैसे खत्म हुई आधार (Aadhar) की अनिवार्यता, सालभर का पूरा अपडेट
नई दिल्ली। आधार कार्ड (Aadhar Card) की संवैधानिक वैधता के मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने इस साल ऐतिहासिक फैसला सुनाया। जिसमें सर्वोच्च अदालत ने आधार कार्ड (Aadhar Card) की संवैधानिकता को बरकरार रखते हुए यह साफ कर दिया कि आधार एक्ट (Aadhar Act) कहीं से भी निजता के अधिकारों का उल्लंघन नहीं करता है। इसके साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने कई सेवाओं के लिए आधार (Aadhar) की अनिवार्यता को खत्म कर दिया। कोर्ट ने प्राइवेट कंपनियों की तरफ से दी जाने वाली सेवाओं में आधार (Aadhar) की अनिवार्यता को खत्म करने का फैसला सुनाया। इसके साथ ही रोजाना की जरूरतों जैसे बैंक अकाउंट और मोबाइल कनेक्शन जैसी सेवाओं के लिए भी आधार (Aadhar) की अनिवार्यता को भी खत्म कर दिया गया है। सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने सरकार की कल्याणकारी योजनाओं और इनकम टैक्स (Income Tax) और पैन (PAN) जैसी महत्वपूर्ण सरकारी सेवाओं के लिए आधार की अनिवार्यता को बरकरार रखा है। आइये एक नजर डालते हैं आधार के अब तक के सफर पर...
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26 सितंबर, 2018 को आया ऐतिहासिक फैसला
उच्चतम न्यायालय (Supreme Court) ने 26 सितंबर, 2018 (बुधवार) को आधार कार्ड (Aadhar Card) की अनिवार्यता के मुद्दे पर अहम फैसला सुनाते हुए कई सेवाओं के लिए आधार की अनिवार्यता को खत्म कर दिया। 5 जजों की पीठ ने आधार को संवैधानिक तौर पर पूरी तरह से वैध और सुरक्षित बताया है। इस फैसले के साथ ही आधार (Aadhar) की अनिवार्यता को लेकर सरकार और आम लोगों के बीच जो भ्रम की स्थिति बन गई थी, उसको भी कोर्ट ने पूरी तरह स्पष्ट कर दिया है। पिछले कुछ साल से आधार (Aadhar) की अनिवार्यता के खिलाफ कई याचिकाएं सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई थीं और जिन पर सुनवाई के बाद आखिरकार कोर्ट में ऐतिहासिक फैसला सुनाया।
साल 2018 में आधार (Aadhar) पर क्या-क्या हुआ
साल 2018 की बात करें तो आधार (Aadhar) को लेकर 17 जनवरी को पांच जजों की बेंच ने इस पर सुनवाई शुरू की। 7 मार्च को बेंच ने कहा कि एनईईटी और बाकी परीक्षाओं के लिए आधार अनिवार्य नहीं हो सकता। 21 मार्च को अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने आधार कार्ड (Aadhar Card) की संवैधानिक वैधता पर केंद्र सरकार का पक्ष रखा। 26 अप्रैल को पीठ ने कहा कि सिम कार्ड और मोबाइल सेवा के लिए आधार कार्ड (Aadhar Card) अनिवार्य नहीं किया जा सकता। 10 मई 2018 को सुप्रीम कोर्ट ने मामले पर फैसले को सुरक्षित रखा। इसके बाद 26 सितंबर, 2018 को सुप्रीम कोर्ट ने आधार (Aadhar) को संवैधानिक तौर पर पूरी तरह वैध बताया। इसके साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि आधार (Aadhar) के डेटा सिक्योरिटी के लिए सरकार कानून बनाए।
कहां-कहां जरूरी नहीं है आधार (Aadhar)
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अब बैंक अकाउंट से आधार (Aadhar) नंबर लिंक करने की जरूरत नहीं है। कोर्ट ने बैंक अकाउंट से आधार को लिंक कराने की अनिवार्यता को खत्म कर दिया। यानि जिन लोगों के बैंक में अकाउंट हैं, उन्हें अपने अकाउंट से आधार (Aadhar) नंबर लिंक कराने की कोई जरूरत नहीं होगी। वहीं नए बैंक अकाउंट खोलने के लिए भी बैंक आधार (Aadhar) नंबर को नहीं मांग सकते हैं। सरकार ने सभी मोबाइल फोन यूजर्स से अपना आधार (Aadhar) नंबर कंपनी से लिंक कराने को कहा था, लेकिन अब ऐसा करना अनिवार्य नहीं है। कोर्ट ने साफ कर दिया है कि किसी भी यूजर को अपने मोबाइल नंबर से आधार लिंक कराने की जरूरत नहीं है। कोर्ट ने टेलीकॉम ऑपरेटर्स से वो सभी डाटा भी डिलीट करने को कहा है जो आधार के जरिये यूजर्स से लिया गया है।
स्कूलों में दाखिले के लिए आधार (Aadhar) जरूरी नहीं
आधार (Aadhar) अब स्कूलों में दाखिले के लिए जरूरी नहीं होगा। दरअसल सरकार के फैसले के बाद सभी स्कूलों ने बच्चों के दाखिले के लिए आधार (Aadhar) को अनिवार्य कर दिया गया था। हालांकि कोर्ट ने इससे इंकार कर दिया। कोर्ट ने कहा कि स्कूल किसी और डॉक्यूमेंट के आधार पर बच्चों को एडमिशन दें। साथ ही कोर्ट ने अपने फैसले में ये भी कहा कि बच्चों के पास आधार (Aadhar) नहीं होने से उन्हें सुविधाओं से वंचित नहीं रखा जाना चाहिए। इसके अलावा कोर्ट ने साफ कर दिया कि यूजीसी, नीट और सीबीएसई की परीक्षाओं के लिए आधार (Aadhar) जरूरी नहीं है। कोर्ट ने इन परीक्षाओं के लिए आधार (Aadhar) की अनिवार्यता को खत्म कर दिया है।
कहां-कहां जरूरी है आधार (Aadhar)
सुप्रीम कोर्ट ने अपने ऐतिहासिक फैसले में साफ कर दिया कि पैन कार्ड को आधार (Aadhar) से लिंक करना जरूरी है। कोर्ट ने PAN के लिए आधार (Aadhar) की अनिवार्यता को बरकरार रखा है। बता दें कि 1 जुलाई से इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने और नया पैन कार्ड बनवाने के लिए भी आधार (Aadhar) जरूरी माना था, जिससे कोर्ट ने सभी सही ठहराया है। पैन के साथ-साथ सुप्रीम कोर्ट ने इनकम टैक्स रिटर्न के लिए भी आधार (Aadhar) की अनिवार्यता को सही ठहराया है। इसी साल सरकार ने PAN के साथ-साथ सरकार ने इनकम टैक्स रिटर्न के लिए आधार (Aadhar) की अनिवार्यता को जरूरी माना था। हालांकि बैंक अकाउंट के लिए आधार (Aadhar) देना जरूरी नहीं होगा।
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