त्रिपुरा में 'निर्भया' जैसा कांड, चलती कार में 9 लोगों ने महिला से गैंगरेप करने के बाद सड़क पर फेंका
अगरतला: त्रिपुरा की राजधानी अगरतला में दिल्ली के 'निर्भया कांड' जैसा दिल दहला देने वाला मामला सामना आया है। यहां एक महिला के साथ 9 लोगों ने गैंगरेप किया और फिर उसे चलती कार से सड़क पर फेंक दिया। महिला अभी हॉस्पिटल में भर्ती है और उसकी हालत गंभीर बनी हुई है। इस घटना ने पूरे नार्थ ईस्ट को हिला दिया है। पुलिस ने 6 आरोपियों को अरेस्ट कर लिया है।
अगरतला में 'निर्भया' जैसा कांड
मीडिया रिपोट्स के मुताबिक अगरतला चिकित्सा महाविद्यालय से छह साल की बीमार बेटी से मिलकर लौट रही महिला के साथ चलती कार में हैवानियत की गई। गैंगरेप करने के बाद आरोपियों ने उसे सड़क पर फेंक दिया। पुलिस ने बताया कि ये घटना गुरुवार की है। जहां 32 वर्षीय पीड़िता से चलती कार में गैंगरेप किया गया और फिर उसे सर्किट हाउस के पास फेंक दिया।
महिला की हालत गंभीर
वहां से गुजर रहे राहगीरों ने महिला को जीबी अस्पताल पहुंचाया। अस्पताल के सूत्रों ने बताया महिला की हालत गंभीर, लेकिन स्थिर बनी हुई है। पुलिस ने बताया कि पीड़िता के पति ने बुधवार को पूर्वी अगरतला महिला थाने में शिकायत दर्ज कराई है। पुलिस ने 6 आरोपियों को अरेस्ट कर लिया है। पूर्वी अगरतला महिला थाने की प्रभारी मुमताज हसीना ने शिकायत के हवाले से बताया कि मंगलवार करीब शाम साढ़े सात बजे पीड़िता घर जाने के लिए ऑटो रिक्शा में सवार हुई जिसके ड्राइवर को वह जानती थी। लेकिन वो उसे और यात्रियों को लेने की बात कर दूसरे रास्ते पर ले गया।
चलती कार में किया गैंगरेप
हसीना के मुताबिक रास्ते में चार लोग और ऑटो रिक्शा में सवार हुए औप उन्होंने महिला के हाथ और मुंह बांध दिया। इसके बाद उन लोगों ने उसे कार में डाला और वहां से करीब 15 किलोमीटर दूर नरसिंहगढ़ ले गए, जहां चार और लोग इंतजार कर रहे थे। ये सभीव लोग कार में सवार हुए और महिला के साथ गैंगरेप किया। रात करीब 11.30 बजे वो उसे सर्किट हाउस के पास फेंक गए।
पुलिस ने आरोपियों की तलाश शुरू की
पुलिस अधिकारी ने बताया कि अन्य आरोपियों की तलाश की जा रही है। वहीं बीजेपी की लोकसभा सांसद प्रतिमा भौमिक ने घटना की निंदा करते हुए मामले की जल्द जांच और आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग की है। गौरतलब है कि आज से सात साल पहले 16 दिसंबर 2012 को दिल्ली में 23 वर्षीय निर्भया के साथ चलती बस में गैंगरेप का मामला सामने आया था। इसके बाद देशभर में आंदोलन और प्रदर्शन हुए। सरकार ने इसके बाद महिला सुरक्षा से जुड़े कानूनी प्रावधानों को और सख्त बनाया था।
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