Zozila Tunnel: श्रीनगर-लेह हाइवे पर बन रही सुरंग से बढ़ने वाली है चीन की टेंशन!
श्रीनगर। गुरुवार को जम्मू कश्मीर के जोजिला पास पर सुरंग बनाने के काम की शुरुआत हो गई है। कश्मीर के गांदरबल जिले में पड़ने वाले जोजिला पास पर सुरंग के लिए पहली ब्लास्टिंग को अंजाम दिया गया। इस सुरंग के बनने के बाद श्रीनगर, द्रास, कारगिल और लेह हर मौसम में खुले रह सकेंगे। इस टनल का फायदा जहां पर्यटकों को होगा तो वहीं सेना को भी इससे बड़ी मदद मिलेगी।
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हर मौसम में सेना को पहुंचाए जा सकेंगे उपकरण
गादंरबल जिले में पड़ने वाला जोजिला पास के रास्ते में सोनमर्ग भी पड़ता है। यह रास्ता सर्दियों में भारी बर्फबारी के कारण बंद हो जाता है। इस वजह से श्रीनगर से लद्दाख तक का रास्ता बाकी घाटी से पूरी तरह कट जाता है। इस सुरंग के बन जाने के बाद अटल सुरंग की ही तरह हर मौसम में जवानों की तैनाती की जा सकेगी। साथ ही उन्हें हर साजों-सामान और जरूरी हथियार भी हर मौसम में पहुंचाए जा सकेंगे। जोजिला पास पर सुरंग बनाने का निर्माण कार्य ऐसे समय में शुरू हुआ है जब लद्दाख में चीन के साथ टकराव को छह माह होने वाले हैं। सर्दियों में भी इस सुरंग की वजह से श्रीनगर-द्रास-लेह हाइवे खुला रहेगा। जोजिला सुरंग 14.5 किलोमीटर लंबी होगी और यह एशिया की सबसे लंबी सुरंग होगी। सुरंग रणनीतिक तौर पर बेहद महत्वपूर्ण है क्योंकि इसके जरिए सियाचिन में तैनात जवानों को होने वाली सप्लाई कभी बंद नहीं हो सकेगी। सर्दियों में बाकी देश से कटे रहने वाले इलाके अब हर साल जुड़े रह सकेंगे जो क्षेत्र का विकास भी हो सकेगा।
चीन की तरफ से दर्ज कराया गया विरोध
इस सुरंग का निर्माण ऐसे समय में शुरू हो रहा है जब पिछले दिनों चीन की तरफ से कहा गया है कि बॉर्डर के इलाकों में भारत जो निर्माण कार्य कर रहा है, वह उसे हरगिज बर्दाशत नहीं है। चीन की तरफ से यह टिप्पणी उस समय की गई थी जब रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने 12 अक्टूबर को बॉर्डर रोड ऑर्गनाइजेशन (बीआरओ) की तरफ से तैयार 44 ऐसे पुलों को उद्घाटन किया था। ये सभी पुल भारतीय सेनाओं के लिए मददगार साबित होने वाले हैं। रक्षा मंत्री ने पुलों के उद्घाटन पर कहा था कि चीन एक मिशन के तहत भारत के खिलाफ तनाव की शुरुआत कर चुका है। चीन के विदेश मंत्रालय की तरफ से कहा गया है कि भारत की तरफ से बॉर्डर पर जारी टेंशन के बीच ही नए निर्माण कार्य किए जा रहे हैं। यह एक चिंता का विषय है। सोमवार को चीनी विदेश मंत्रालय ने कहा है कि किसी भी पक्ष को बॉर्डर के इलाकों पर ऐसे एक्शन लेने से बचना चाहिए जिनसे स्थिति जटिल हो। इसके साथ ही चीन के विदेश मंत्रालय की तरफ से कहा गया है कि चीन, लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (एलएसी) के करीब मिलिट्री को नजर रखने और नियंत्रण के मकसद से होने वाले किसी भी निर्माण कार्य का विरोध करता है।