iPad पर तुरंत प्रजेंटेशन तैयार कर पीएम मोदी ने CAA, आर्टिकल 370 पर दूर की ट्रंप की गलतफहमियां
नई दिल्ली। 24 और 25 फरवरी को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप अपने पहले आधिकारिक भारत दौरे पर थे। 24 फरवरी को जहां उन्होंने अहमदाबाद में 'नमस्ते ट्रंप' कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ स्टेज साझा किया तो वहीं अगले दिन हैदराबाद हाउस में उन्होंने पीएम मोदी के साथ द्विपक्षीय वार्ता की। हैदराबाद हाउस के सूत्रों की मानें तो लंच के समय पीएम मोदी ने अपने आईपैड की मदद से ऑन स्पॉट प्रजेंटेशन तैयार करके ट्रंप की उन गलतफहमियों को दूर किया जो ट्रेड, नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) और आर्टिकल 370 से जुड़ी थीं। आपको बता दें कि आईपैड, पीएम मोदी का फेवरिट गैजेट है। इंग्लिश डेली हिन्दुस्तान टाइम्स की तरफ से इस बात की जानकारी दी गई है।
यह भी पढ़ें-मेलानिया ट्रंप को आ रही है दिल्ली के सर्वोदय स्कूल की याद
ट्रंप को बताया व्यापार घाटा हुआ है कम
हैदराबाद हाउस में मंगलवार को जब दोनों नेता मिले तो कई मुद्दों पर चर्चा हुई जिसमें ट्रेड सबसे ऊपर था। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के मन में इस बात को लेकर गलतफहमी थी कि भारत का बर्ताव अमेरिका के लिए व्यापार के लिहाज से गलत है। जो लोग मीटिंग के दौरान हैदराबाद हाउस में मौजूद थे उनके हवाले से अखबार ने बताया है कि पीएम मोदी ने खुद उनकी इस गलतफहमी को दूर करने की जिम्मेदारी संभाली थी। उन्होंने तुरंत ही अपना आईपैड निकाला और राष्ट्रपति की गलतफहमी को दूर करने की कोशिश की। पीएम मोदी ने ट्रंप को बताया कि जो व्यापार घाटा उनके कार्यकाल से पहले 31 बिलियन डॉलर पर था वह साल 2018 में 24.2 बिलियन डॉलर पर पहुंच गया था।
भारतीय छात्रों का अमेरिका के लिए योगदान
पीएम मोदी ने ट्रंप को जानकारी दी कि पिछले चार वर्षों में व्यापार घाटे में 22 प्रतिशत तक की गिरावट दर्ज की गई है। पीएम मोदी ने ट्रंप को यह भी बताया कि कैसे अमेरिका के साथ भारत का हाइड्रोकॉर्बन आयात जो साल 2013 में जीरो था, वह पहले नौ बिलियन डॉलर पर पहुंचा और अब इसके 12 बिलियन डॉलर पर पहुंचने की संभावना है। हाइड्रोकॉर्बन आया में तेल, कोयला और लिक्विफाइड नैचुरल गैस आते हैं। उन्होंने ट्रंप को यह जानकारी भी दी कि अमेरिका में बसे भारतीय छात्र हर वर्ष अमेरिकी खजाने में छह बिलियन डॉलर का योगदान करते हैं।
सीएए देगा अल्पसंख्यकों को सुरक्षा और सम्मान
पीएम मोदी ने अमेरिकी राष्ट्रपति को सीएए के बारे में भी बताया। उन्होंने ट्रंप को कानून के बारे में विस्तार से बताया। पीएम मोदी ने उन्हें जानकारी दी कि भारत के पड़ोस में स्थित पाकिस्तान और दूसरे मुसलमान देशों में बसे अल्पसंख्यकों जिनमें क्रिश्चियंस भी शामिल हैं, उनकी संख्या में गिरावट आ रही है। इस नए कानून का मकसद बस पड़ोसी देशों से आए ऐसे ही अल्पसंख्यक समुदायों को सुरक्षा और उनका सम्मान प्रदान करना है। मीटिंग में मौजूद लोगों की मानें तो पीएम मोदी ने राष्ट्रपति ट्रंप को इस बारे में भरोसा दिलाया कि सीएए का मकसद किसी की नागरिकता छीनना नहीं है।
कश्मीर पर भी दी ट्रंप को जानकारी
सीएए के अलावा जम्मू कश्मीर पर भी दोनों नेताओं ने चर्चा की। पीएम मोदी ने बताया कि किस तरह से पाकिस्तान आतंकियों की आड़ लेकर भारत को निशाना बना रहा था। उन्होने अमेरिकी राष्ट्रपति को यह भी बताया कि पाकिस्तान की तरफ से भारत के सामने कौन-कौन सी सुरक्षा चुनौतियां हैं। इस पर राष्ट्रपति ट्रंप ने दोनों देशों के बीच मध्यस्थता करने की इच्छा भी जताई। मीटिंग में मौजूद लोगों की मानें तो पीएम मोदी ने राष्ट्रपति ट्रंप की इस बात पर कोई खास तवज्जो नहीं दी थी।