मोदी सरकार को VHP का अल्टीमेटम, अगस्त तक सुलझाएं राम मंदिर विवाद
नई दिल्ली: विश्व हिंदू परिषद ने एक बार फिर से अयोध्या में राम मंदिर बनाए जाने के मुद्दे को लेकर सरकार पर दबाव बनाना शुरू कर दिया है। विहिप ने सरकार को रामजन्मभूमि-बाबरी मस्जिद विवाद को सुलझाने के लिए अगस्त, 2018 तक का वक्त दिया है। अगर इसका कुछ भी हल नहीं निकलता है तो विहिप इसे शीर्ष नेतृत्व के सामने उठाएगी जिसमें संगठन के शक्तिशाली पदाधिकारियों के साथ साधु-संत भी शामिल होंगे। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को इस मामले में सुनवाई की अगली तारीख 13 जुलाई तय की है।
वीएचपी के संयुक्त महासचिव सुरेंद्र जैन ने कहा कि मामले को रोजाना सुनवाई के जरिए हल किया जाना चाहिए। इलाहाबाद हाई कोर्ट ने पहले ही फैसला सुनाया था कि मंदिर को ध्वस्त करने के बाद ही उस जगह पर मस्जिद बनाई गई थी। अगर कोई ये कहता है कि चुनाव नजदीक होने के कारण इस मुद्दे को उठाया जा रहा है, तो वो वीएचपी पर नहीं, सुप्रीम कोर्ट पर सवाल उठा रहा है।
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सुरेंद्र जैन ने कहा कि पुरातत्व सर्वेक्षण के अधिकारी के. के. मोहम्मद ने बार-बार कहा था कि तथाकथित धर्मनिरपेक्ष लोगों ने जानबूझकर इस मामले में देरी की जिसे बहुत पहले सुलझाया जा सकता था। जैन ने कहा, 'यह मामला पहले ही लेट हो चुका है, हम लंबे समय से राम मंदिर के लिए लड़ रहे हैं और इंतजार कर रहे हैं, इसलिए कोई और देरी नहीं देख सकते हैं।'
जैन ने कहा कि वीएचपी को पूरा विश्वास है कि कोर्ट जल्द ही इस मामले में फैसला सुनाएगा। सुब्रमण्यम स्वामी सहित कई लोगों के हस्तक्षेप को सुप्रीम कोर्ट पहले ही नकार चुका है। जैन ने कहा कि विहिप कोई फैसला नहीं आने की स्थिति में अगला कदम उठाएगा। इस मामले को चुनाव से जोड़ने की जरूरत नहीं है और ना ही इसे राजनीति से जोड़ने की जरूरत है। हम प्रशासन के साथ सहयोग कर रहे हैं। जबकि एक बीजेपी नेता ने कहा कि मुस्लिम भी चाहते हैं कि मामला जल्द सुलझाया जाए, अधिकांश मुस्लिम राम मंदिर के निर्माण पर राजी हैं।
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