हम पर US, पाक और चीन की नजर, इसलिए ऑनलाइन शेयर नहीं की गईं डिफेंस रिपोर्ट्स: पूर्व CAG राजीव महर्षि
ऑनलाइन शेयर नहीं कर सकते डिफेंस रिपोर्ट्स: पूर्व CAG राजीव महर्षि
नई दिल्ली। भारत के नियंत्रक और महालेखा परीक्षक के रूप में शुक्रवार को अपना कार्यकाल पूरा करने वाले राजीव महर्षि ने कहा कि उन्होंने डिफेंस ऑडिट रिपोर्ट्स को ऑनलाइन उपलब्ध नहीं कराया क्योंकि 'कोई वाशिंगटन में, कोई बीजिंग में और कोई इस्लामाबाद में भी देख रहा होगा'। उन्होंने कहा कि हमने इसे सार्वजनिक दस्तावेज की तरह सार्वजनिक करना बंद कर दिया है क्योंकि इससे भारत के दुश्मन देश भी आसानी से अक्सेस कर सकते हैं। यह सरकारी फैसला नहीं, मेरा निर्णय था।
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पूर्व सीजीए राजीव महर्षि ने कहा, सीजीए रिपोर्ट को जांच के लिए संसद और पीएसी के सामने पेश किया जाता है, इसे सांसदों के लिए भी उपलब्ध रहती है। लेकिन अब हमने इसे सार्वजनिक ऑनलाइन वेबसाइट पर साझा करना बंद कर दिया है। कोइ वाशिंगटन मुझे भी देख रहा है, बीजिंग मुझे भी देख रहा है और इस्लामाबाद मैं भी देख रहा है, वह जानकारी को आसानी से एक्सेस कर सकता है इसलिए, हमने निर्णय लिया है कि सीएजी रिपोर्ट जैसी एनालिटिकल फाइंडिंग्स को आसानी से ऑनलाइन उपलब्ध नहीं कराना चाहिए।
उन्होंने कहा, 'हमारी रिपोर्ट आएगी तो उसे हम शॉर्टकमिंग्स में बताएंगे ही, लेकिन डिफेंस की रिपोर्ट को वेबसाइट पर डालनेका का कोई सेंस नहीं है। क्यों यह दुनिया में हर किसी के लिए इसे आसानी से उपलब्ध कराएं?' उन्होंने कहा, जब मैं गृह (मंत्रालय) में था, तब पाकिस्तान के साथ बहुत तनाव था। तक एक कैग की रिपोर्ट आई थी जिसमें यह बताया गया था कि सेना के पार गोला-बारूद की कितनी कमी है। अगर कमी है तो भी मान लीजिए शॉर्टेज है, तो काम से कम दुश्मन को ये नहीं मालूम होना चाहिए। उन्होंने मीडिया को भी राष्ट्रीय सुरक्षा के मसले पर सावधानी से रिपोर्ट करने की नसीहत दी।
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