पर्यटन मंत्री ने विदेशी यात्रियों को बिकिनी पर दिया यह खास सुझाव
नई दिल्ली। केंद्रीय पर्यटन मंत्री केजे अल्फोंस का कहना है कि देश में आने वाले विदेशी पर्यटकों को कुछ खास कोड ऑफ कंडक्ट यानि आचरण का पालन करना चाहिए। उन्होंने कहा कि भारत के पर्यटकों के साथ विदेश से आने वाले पर्यटकों को पर्यटन स्थल देखने जाते वक्त भारत की संस्कृतित और परंपरा का ध्यान रखना चाहिए। उन्होंने कहा कि विदेश से आने वाले पर्यटक शहर की सड़क पर बिकिनी में घूमते हैं, जब यह पर्यटक भारत आते हैं तो आप उनसे यह अपेक्षा नहीं करते हैं कि वह सड़क पर बिकिनी में घूमें।
सड़क पर बिकिनी में नहीं घूमना चाहिए
अल्फोंस ने कहा कि विदेशी पर्यटक गोवा में बीच पर बिकिनी पहनते हैं, लेकिन वहां वह सड़क पर ऐसा नहीं करते हैं। आपको इस बात की समझ होनी चाहिए कि किसी देश की संस्कृति क्या है और उसी के अनुसार आपको व्यवहार करना चाहिए। उन्होंने कहा कि पर्यटकों को परंपरा और संस्कृति का खयाल रखना चाहिए और उन्हें यह समझना चाहिए कि यहां क्या स्वीकार किया जा सकता है और क्या नहीं। लैटिन अमेरिका में कई ऐसे शहर हैं जहां लोग बिकिनी में घूमते हैं, यह वहां स्वीकार किया जाता है, मुझे उससे कोई दिक्कत नहीं है। लेकिन जब आप ऐसे देश में आते हैं तो आपको यहां की संस्कृति और परंपरा का खयाल रखना चाहिए।
पिछले वर्ष बीफ पर दिया था बयान
पर्यटन मंत्री ने कहा कि मैं यह नहीं कह रहा हूं कि जब आप भारत आएं तो आपको भारतीय पोशाक साड़ी पहननी चाहिए, बल्कि आपको ऐसे कपड़े पहनने चाहिए जो लोगों में स्वीकार्य हों। आपको बता दें कि पिछले वर्ष अल्फोंस ने कहा कि विदेशी पर्यटकों को अपने देश में ही बीफ खाकर आना चाहिए। उन्होंने कहा कि मैं यह नहीं कह रहा हूं कि आपको भारत के ही व्यंजन खाने की आदत डालनी चाहिए, लेकिन कुछ इस तरह के व्यवहार हैं जिनकी आपसे अपेक्षा की जाती है। आप जब भी विदेश जाते हैं तो हम ऐसा ही व्यवहार करते हैं जैसा कि वहां के लोग चाहते हैं, हम भी ऐसी ही अपेक्षा करते हैं।
दूसरों की संस्कृति का हो सम्मान
अपने बयान पर सफाई देते हुए अल्फोंस ने कहा कि वो लोग बेहतर होते हैं जो दूसरों के अधिकार का सम्मान करते हैं। मैं जैसे भी चाहूं बात कर सकता हूं, इसकी मुझे आजादी है, लेकिन मेरी आजादी वहां खत्म हो जाती है जहां दूसरे की आजादी शुरू होती है। कुछ ऐसी चीजें हैं जो हमारे देश में स्वीकार्य हैं। हमे एक दूसरे को समझना चाहिए और एक दूसरे का सम्मान करना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि पोशाक की मर्यादा ना सिर्फ विदेशी पर्यटक बल्कि भारत के पर्यटकों पर भी लागू होती है।