उपचुनावों में बीजेपी की करारी हार पर बोले सुब्रमण्यम स्वामी- बढ़ते अभिमान और चाटुकार लोगों के चलते हो रहा है ऐसा
नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश की कैराना लोकसभा और नूरपुर विधानसभा सीट पर बीजेपी को करारी हार का सामना करना पड़ा है। दोनों सीटों पर सपा और रालोद प्रत्याशी ने जीत दर्ज की है। इसके साथ ही बीजेपी महाराष्ट्र के भंडारा-गोदिया सीट भी एनसीपी के हाथों हार गई। यानि, कर्नाटक में शिकस्त के बाद बीजेपी के लिए यह एक और बड़ा झटका है क्योंकि ये तीनों सीटें पहले बीजेपी के पास थी जिनमें से वह सिर्फ एक पर ही वापसी कर पाई है। बीजेपी की इस हार पर पार्टी से राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने बड़ा बयान दिया है। स्वामी ने कहा है कि उपचुनावों में बीजेपी को हार उसके बढ़ते अभिमान का नतीजा है।
सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा कि पार्टी इन चीजों से बच सकती है और जीत की अपनी पुरानी ट्रैक पर लौट सकती है अगर वो जी हुजुरी करने वाले लोगों को सम्मान देना बंद कर दे। उन्होंने कहा कि बीजेपी को वापस वो उंचाई मिल सकती हैअगर वो अपने आधारभूत प्रकृति में बदलाव लाए। आपको बता दें कि 2014 में बीजेपी प्रचंड बहुमत के साथ सत्ता में आई थी। ऐसे में पीएम मोदी की दो लोकसभा सीटों पर जीत और गोपीनाथ मुंड के निधन के बाद खाली हुई महाराष्ट्र की बीड़ सीट पर उप-चुनाव कराना पड़ा।
This huge setback in by polls is due to Hubris. But the trend is easily reversible if party stops rewarding sycophancy & has more participatory decision making ethos amongst those leaders whom the public find credible. BJP has infrastructure to bounce back but needs a new ethos
— Subramanian Swamy (@Swamy39) May 31, 2018
2014 में हुए बीड़ और नरेंद्र मोदी की सीट वडोदरा में बीजेपी ने करीब 7 लाख और 3 लाख वोटों से उप चुनाव जीता। 2015 में बीजेपी की इस 'लहर' के रास्ते में रुकावट एमपी के रतलाम सीट पर आई और बीजेपी ने वो सीट कांग्रेस के हाथों गंवा दी। साल 2017 और 2018 में हुए 3 लोकसभा उपचुनाव में इस लहर की रफ्तार कुंद पड़ी और बीजेपी ने गुरदासपुर, अलवर, अजमेर, गोरखपुर, फूलपुर सीटें गंवा दीं।