लद्दाख में चीन बॉर्डर पर बढ़ रहा है तनाव, कुछ ही दूरी पर भारत-चीन ने तैनात किए टैंक
नई दिल्ली। पूर्वी लद्दाख में भारत-चीन सीमा पर इस समय स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत केंद्र सरकार के तमाम आला अधिकारी लगातार लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (एलएसी) पर नजर बनाए हुए हैं। पैंगोंग झील के दक्षिणी हिस्से में तनाव बढ़ा हुआ है। सूत्रों की तरफ से जो जानकारी दी जा रही है, उसके मुताबिक भारत और चीन के टैंक्स एक-दूसरे से बस कुछ ही दूरी पर तैनात हो चुके हैं। आपको बता दें कि 29 और 30 अगस्त की रात पीपुल्स लिब्रेशन आर्मी (पीएलए) ने पैंगोंग झील के दक्षिणी किनारे पर कब्जे की कोशिश की थी।
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काला टॉप भारत के कब्जे में
चीन ने अपने टैंक्स और दूसरे बख्तरबंद वाहनों को काला टॉप के करीब तैनात कर दिया है। भारतीय सुरक्षाबलों ने 30 अगस्त को इस जगह पर दोबारा नियंत्रण करने में कामयाबी हासिल की है। सूत्रों की तरफ से बताया गया है कि राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजित डोवाल ने टॉप ऑफिशियल्स के साथ बॉर्डर पर हालातों का जायजा लिया है। वहीं, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह भी आज एक हाइ लेवल मीटिंग कर सकते हैं। चीन की तरफ से भारी और हल्कें टैंक्स को इस एरिया में तैनात किया गया है। भारतीय सीमा से इनकी दूरी बस कुछ ही कदम दूर है। वहीं, काला टॉप पर भारत की सेनाएं भी टैंक्स और आर्टिलरी सपोर्ट के साथ तैनात हैं।
काला टॉप से रखी जा रही नजर
भारत की स्पेशल फ्रंटियर फोर्स (एसएफएफ) ने काला टॉप पर कब्जा किया हुआ है। सेना की बाकी यूनिट्स भी ऊंचाई पर हैं। यहां से सेनाएं, चीनी टैंक्स और दूसरी मशीनरी की गतिविधियों पर नजर रख सकती हैं। इंडियन आर्मी की टैंक रेजीमेंट को पहले ही मैदानी इलाकों में तैनात किया हुआ है। पैंगोंग का दक्षिणी-पश्चिमी हिस्सा यानी स्पांग्गुर त्सो और चुशुल 30 अगस्त को टकराव का केंद्र बिंदु था। इस बीच सुबह नौ बजे ही मोल्डो में ब्रिगेड कमांडर स्तर की वार्ता जारी है। मई माह में जब से भारत-चीन के बीच टकराव शुरू हुआ है तब से ही इंडियन आर्मी ने अपनी T90 टैंक्स की रेजीमेंट को चुशुल में स्पांग्गुर पास पर तैनात कर दिया था।