तमिलनाडु: पुलिस हिरासत में पिता-पुत्र की मौत से भड़का आक्रोश, 4 पुलिसवाले सस्पेंड
नई दिल्ली। लॉकडाउन के उल्लंघन पर तमिलनाडु पुलिस ने कुछ दिन पहले पिता-पुत्र को हिरासत में लिया था। कस्टडी में ही दोनों की मौत हो गई है जिसके बाद से राजनीति गरमा गई है। विपक्षी दल DMK ने सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। इस बीच, DMK सांसद कनिमोझी करुणानिधि ने इस संबंध में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC) को पत्र लिखा है। जो जानकारी मिल रही है उसके मुताबिक जयराज (59) और उनके बेटे फेनिक्स (31) को पुलिस ने 19 जून को लॉकडाउन के दौरान मोबाइल एक्सेसरीज शॉप खुली रखने के लिए हिरासत में लिया था। पीड़ित परिवार का आरोप है कि दोनों को इतनी यातनाएं दी गईं कि उनकी मौत हो गई। आपको बता दें कि इस मामले में चार पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर दिया गया है।
डीएमके ने मृतकों के परिवार को 25 लाख रुपये देने की घोषणा
डीएमके ने पूछा है कि सरकार ने इस घटना में पुलिस को कानून अपने हाथ में कैसे लेने दिया? साथ ही डीएमके ने मृतकों के परिवार को 25 लाख रुपये देने की भी घोषणा की है। डीएमके अध्यक्ष एमके स्टालिन ने कहा, कथित तौर पर पुलिस द्वारा दो लोगों को जो यातना दी गई है ये राज्य सरकार द्वारा पुलिस को अपने हाथ में कानून लेने दिए जाने का नतीजा है। वहीं मुख्यमंत्री पलानीस्वामी ने घटना पर दुख जताया लेकिन यातना दिए जाने की बात पर उन्होंने ने चुप्पी साध ली। सीएम ने पीड़ित परिवार को 10 लाख रुपये और नौकरी देने की बात कही है।
राहुल गांधी ने कही ये बात
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने राज्य सरकार से न्याय की अपील की है। राहुल गांधी ने ट्वीट किया कि पुलिस की बर्बरता एक भयानक अपराध है। यह एक त्रासदी है जब हमारे रक्षक ही उत्पीड़क बन जाते हैं। मैं पीड़ितों के परिवार के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करता हूं और न्याय सुनिश्चित करने के लिए सरकार से अपील करता हूं।
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