CAA पर असम और त्रिपुरा के लिए सुप्रीम कोर्ट ने बनाई अलग कैटेगरी, 2 हफ्ते बाद सुनवाई
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के खिलाफ दायर याचिका मामले में केंद्र सरकार को बड़ी राहत दी है। चीफ जस्टिस एसए बोबड़े की अध्यक्षता वाली पीठ ने मामले की सुनवाई करते हुए सीएए पर रोक लगाने से मना कर दिया है। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने अमस और त्रिपुरा में सीएए लागू करने के मामले पर दो हफ्ते के अंदर केंद्र सरकार से जवाब मांगा है। सुनवाई के दौरान पीठ ने कहा कि असम-त्रिपुरा का मामला बाकि राज्यों से अगल है इसलिए एक अलग कैटेगरी बनाई जाएगी।
गौरतलब है कि सीएए को लेकर देश भर में बवाल मचा हुआ है इसी बीच बुधवार को सुप्रीम कोर्ट ने एक याचिका पर सुनवाई की। चीफ जस्टिस एसए बोवड़े की अध्यक्षता वाली पीठ ने असम और त्रिपुरा को छोड़कर बाकि राज्यों में सीएए पर रोक लगाने से मना कर दिया है। जस्टिस बोबड़े ने कहा कि पूरे मामले पर एक कैटेगरी बनाएंगे जिसमें असम-त्रिपुरा अलग मामला होगा और बाकि के राज्यों को अलग जोन में रखा जाएगा। इसके अलावा पीठ ने असम-त्रिपुरा ने सीएए को लेकर दायर याचिका पर केंद्र सरकार से दो हफ्तों के अंदर जवाब मांगा है।
अलग-अगल
कैटेगरी
में
होगी
याचिकाओं
की
सुनवाई
कोर्ट
ने
कहा
कि
अलग-अलग
कैटेगरी
में
याचिकाओं
की
सुनवाई
होगी।
साथ
ही
हर
केस
के
लिए
एक
वकील
को
ही
मौका
मिलेगा।
कोर्ट
ने
कहा
कि
नागरिकता
संशोधन
कानून
पर
अंतरिम
रोक
नहीं
लगा
सकते।
कोर्ट
ने
कहा
कि
रोक
लगाने
से
संबंधित
मामला
अगली
सुनवाई
या
अगली
बेंच
द्वारा
तय
किया
जा
सकता
है।
सुप्रीम
कोर्ट
ने
कहा
कि
इस
मामले
में
प्रक्रियात्मक
मुद्दे
पर
चैंबर
बेंच
सुनवाई
करेगा।
सुप्रीम
कोर्ट
ने
कहा
कि
संविधान
पीठ
के
गठन
पर
विचार
किया
जा
सकता
है।
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