सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र से कहा- उमर अब्दुल्ला को जल्द रिहा करें, वरना हम याचिका पर सुनवाई करेंगे
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने आज (18 मार्च) जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला के जन सुरक्षा कानून (पीएसए) के तरह उनकी हिरासत को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई की। बता दें कि उच्चतम न्यायालय में उमर अब्दुल्ला की बहन सारा पायलट ने याचिका दायर कर पीएसए को चुनौती दी है। इस मामले पर सुनवाई करते हुए बुधवार को सुप्रीम कोर्ट ने जम्मू-कश्मीर प्रशासन से उमर अब्दुल्ला की रिहाई पर जवाब मांगा है। न्यायालय ने कहा, जम्मू-कश्मीर प्रशासन यह निर्देश दे कि क्या वह पूर्व सीएम उमर अब्दुल्ला को रिहा करने की योजना बना रहा हैं या हम उनकी बहन की याचिका पर सुनवाई करें।
Recommended Video
सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार को फटकार लगाते हुए अब इस मामले की सुनवाई को अगले सप्ताह के लिए टाल दिया है। बता दें कि 5 अगस्त, 2019 के दिन घाटी से अनुच्छेद 370 हटने के बाद से ही नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता और जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला और उनके पिता फारुख अब्दुल्ला समेत कई दिग्गज नेताओं को नजर बंद कर दिया गया था। इसके अलावा उमर अब्दुल्ला को जन सुरक्षा कानून (पीएसए) के तहत हिरासत में भी ले लिया गया था। इसी के खिलाफ उनकी बहन सारा पायलट ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है।
If you are releasing Omar Abdullah release him soon or we will hear his sister's plea against his detention on merit: SC to Centre
— Press Trust of India (@PTI_News) March 18, 2020
बता दें कि हाल ही में पूर्व मुख्यमंत्री फारुख अब्दुल्ला की सरकार ने नजरबंदी को खत्म कर दिया है। घर से निकलने के बाद उन्होंने मीडिया से बात की और सबसे पहले अपने बेटे उमर अब्दुल्ला से मिलने पहुंचे। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक करीब सात महीने बाद दोनों बाप बेटे उमर अब्दुल्ला के निवास स्थान श्रीनगर के उपजेल में मिले। दोनों एक दूसरे को देखकर भावुक हो गए और गले लगाकर रोने लगे। मालूम हो कि दोनों नेता जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री भी रह चुके हैं।
यह भी पढ़ें: Coronavirus: सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश ने कहा, 'कलयुग में हम वायरस से लड़ाई नहीं कर सकते'