पर्दे पर गदर' मचाकर लोगों को 'बेताब' करने वाले सनी देओल भाजपा में शामिल, जानिए उनका अब तक का सफर
नई दिल्ली। बॉलीवुड के सुपर स्टार सनी देओल मंगलवार को अधिकारिक तौर पर भाजपा में शामिल हो गए, पार्टी ने उन्हें गुरदासपुर लोकसभा सीट से टिकट दिया है, हिंदी सिनेमा के 'ही-मैन' धर्मेंद्र के बड़े बेटे सनी देओल ने कल दिल्ली स्थित पार्टी हेडक्वार्टर में रक्षामंत्री निर्मला सीतारमण और रेल मंत्री पीयूष गोयल की उपस्थिति में सदस्यता ग्रहण की।
पापा अटक के साथ, मैं मोदी के साथ: सनी देओल
इस मौके पर सनी ने मीडिया से मुखातिब होते हुए कहा कि जिस तरह से मेरे पापा इस परिवार और अटल जी के साथ जुड़े थे, वैसे ही मैं अब मोदी जी के साथ जुड़ने आया हूं, मैं चाहता हूं कि मोदी अगले पांच साल और पीएम रहें, क्योंकि हम आगे बढ़ना चाहते हैं, देश के युवाओं को मोदी जैसे लोगों की जरूरत है, मैं इस परिवार से जुड़कर जिस तरह से भी जो कर सकता हूं, वो सब दिल से करूंगा, बताते चले अभिनेता धर्मेद्र भी इससे पहले भाजपा में रह चुके हैं तो वहीं उनकी दूसरी पत्नी हेमामालिनी भी भाजपा के टिकट पर मथुरा से सांसद हैं और इस बार भी वो इसी सीट से चुनावी रण में हैं।
आइए एक नजर डालते हैं सनी के अब तक फिल्मी सफर और उनके व्यक्तित्व के बारे में
ढाई किलो के हाथ अब 'कमल' के साथ
पिछले 36 सालों से हिंदी सिनेमा की सेवा कर रहे अभिनेता सनी देओल का एक खास मुकाम फैंस के दिल में हैं। कभी लोग उनकी आंखों में छलकते प्यार को देखकर 'बेताब' हो जाते हैं तो कभी उनका वतन के प्रति प्रेम देखकर लोग 'गदर' मचाने में भी पीछे नहीं रहते हैं। कभी वो 'घायल' सैनिकों के लिए 'बार्डर' पर 'जीत' का परचम लहराते हैं तो कभी 'अर्जुन' बनकर किसी 'दामिनी' के 'डर' को दूर करने की कोशिश करते है।
असल जिंदगी में काफी शर्मीले इंसान हैं सनी देओल
लेकिन पर्दे पर जहां सनी देओल बहुत ज्यादा उग्र हैं, वहीं असल जिंदगी में काफी शर्मीले इंसान हैं, उनका एक बहुत फेमस संवाद है..यह ढाई किलो का हाथ किसी पे पड़ता हैं ना तो आदमी उठता नहीं उठ जाता है...लेकिन क्या आपको पता है कि सनी देओल का हाथ केवल पर्दे पर ही भारी नहीं है बल्कि वो पर्दे के पीछे भी काफी हैवी है।
बुरी आदतों से कोसों दूर रहते हैं सनी, पापा धर्मेंद्र ने खोला था राज
सनी देओल अपनी फिटनेस और डाईट का बहुत ज्यादा ख्याल रखते हैं। एक इवेंट में सनी देओल के पिता और महान अभिनेता धर्मेंद्र ने कहा था कि कभी-कभी मुझे लगता है कि सनी मेरा बेटा है भी या नहीं क्योंकि इसके अंदर बहुत अच्छी आदते हैं। वो बहुत हेल्दी लाइफ जीता है और मेरी तरह बिल्कुल भी लापरवाह नहीं है, ये शराब और सिगरेट को हाथ नहीं लगाता और ना ही चिकन या बिरयानी के लिए क्रेजी है, ये कम ऑयली और लो स्पाइसी खाना खाता है।
हेल्दी लाइफ जीते हैं सनी देओल
समय पर सोता है और समय पर उठता है, रोज जिम जाता और मिठाई से दूर रहता है, सनी देओल को लेटनाईट पार्टी पसंद नहीं है, इसे किताबों और कसरत का शौक है और इसी पर समय खर्च करता है, इसके दोस्त भी काफी कम है लेकिन जो हैं, वो काफी करीबी हैं। यह एक फैमिली मैन है इसलिए उनका हाथ असल में भी ढाई किलो का ही है, और ऐसा कहकर धर्मेंद्र भावुक हो गए थे।
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फिल्म 'बेताब' से बॉलीवुड में रखा था कदम
आपको बता दें कि अपनी फिटनेस के ही कारण सनी देओल अपने समकक्ष हीरों से उम्र में काफी कम लगते हैं। 19 अक्टूबर 1959 को जन्में सनी देओल ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा मुंबई में पूरी की थी। इसके बाद उन्होंने इंग्लैंड के मशहूर ओल्ड बेव थियेटर में अभिनय की शिक्षा प्राप्त की। सनी ने अपने अभिनय करियर की शुरुआत अपने पिता निर्मित फिल्म 'बेताब' से की।
राष्ट्रीय पुरस्कार से नवाजे जा चुके हैं सनी देओल
वर्ष 1990 में प्रदर्शित फिल्म 'घायल' सनी के सिने करियर की महत्वपूर्ण फिल्मों में शामिल है। फिल्म में अपने दमदार अभिनय के लिए सनी को सर्वश्रेष्ठ अभिनेता के फिल्म फेयर पुरस्कार के साथ ही राष्ट्रीय पुरस्कार से भी सम्मानित किया गया था तो वहीं वर्ष 1993 में प्रदर्शित फिल्म 'दामिनी' में अपने दमदार अभिनय के लिए सनी ने सर्वश्रेष्ठ सहायक अभिनेता के राष्ट्रीय पुरस्कार और फिल्म फेयर पुरस्कार जीता था।
'बॉर्डर' फिल्म से जीता लोगों का दिल
'बॉर्डर' में उन्होंने महावीर चक्र विजेता मेजर कुलदीप सिंह के किरदार में जान डाल दी थी। तो वहीं वर्ष 2001 में प्रदर्शित फिल्म 'गदर एक प्रेम कथा' सनी देओल के सिने करियर की सर्वाधिक सुपरहिट साबित हुई।