मध्य प्रदेश में आतंकी घटनाएं कम होने के पीछे का सच
मध्य प्रदेश में आतंकी घटनाएं काफी कम होती हैं, लेकिन इस हकीकत के पीछे की एक कहानी और भी है, सिमी की जड़े हैं काफी गहरी
भोपाल। अगर आप सोचते हैं कि मध्य प्रदेश में पहले कभी कोई बड़ा आतंकी हमला नहीं हुआ है और इसकी तारीफ होनी चाहिए तो इसका दूसरा पहलू भी है। प्रदेश में कई आतंकी घटनाएं हुई हैं जिसमें जेल तोड़ने की घटना भी शामिल है।
आतंकियों
और
माफियाओं
से
PM
मोदी
की
जान
को
खतरा:
बाबा
रामदेव
आंकड़े
बयां
करते
हैं
कुछ
और
आकंड़े
दिखाते
हैं
क
2014
में
कई
देश
विरोधी
मामले
दर्ज
किए
गए
हैं।
2014
में
25
ऐसे
मामले
दर्ज
हुए
हैं
जबकि
2015
में
15
मामले
दर्ज
किए
गए
है।
पिछले
दो
सालों
में
मध्य
प्रदेश
दो
बार
खबरों
में
आ
चुका
है।
मारे
गए
आतंकियों
को
किसने
दिए
2000
के
नोट?
2014
में
भी
खांडवा
की
जेल
से
सिमी
आतंकियों
के
भागने
का
मामला
सामने
आया
था।
इस
साल
भी
सिमी
के
आतंकियों
के
भागने
की
खबर
ने
काफी
सुर्खियां
बटोरी
थी।
वहीं
इससे
इतर
जासूसी
और
नई
नौकरियों
को
लेकर
कई
मामले
सामने
आए
थे।
इसके
अलावा
फर्जी
नोटों
का
मामला
भी
सामने
आया
था।
जाली
नोट
और
हथियारों
का
व्यापार
बड़ा
रैकेट
वर्ष
2007
से
मध्य
प्रदेश
में
90
ऐसे
मामले
दर्ज
किए
गए
है
जोकि
देशविरोधी
थे।
हर
वर्ष
इस
तरह
के
मामले
दर्ज
किए
गए
और
2014
मे
ऐसे
मामले
बढ़े।
2014
में
25
अधिक
घटनाए
दर्ज
की
गई,
जिसमें
मुख्य
रुप
से
जाली
नोट
और
विष्फोटकों
के
मामले
अधिक
हैं।
सिमी
की
जड़े
काफी
मजबूत
मध्य
प्रदेश
में
एक
रैकेट
है
जो
कि
देशविरोधी
गतिविधियों
को
अंजाम
देता
है,
जिसमें
नक्सलियों
को
हथियार
मुहैया
कराए
जाते
हैं।
पुलिस
ने
कई
आईएसआई
से
संबंधित
लोगों
की
पहचान
भी
की
जोकि
हथियारों
की
सप्लाई
करते
हैं।
इमरान खान और वसीम खान ने इंडियन मुजाहिदीन के ऑपरेटिव शफी अरमार को गिरफ्तार कराने में अहम भूमिका निभाई थी, जोकि भारत की जेल से फरार हो गया था।
एमपी
में
सिमी
का
नेटवर्क
काफी
मजबूत
है,
इसका
श्रेय
सफदर
नागोरी
को
जाता
है
जिसने
सिमी
की
ही
तरह
एक
संस्था
को
यहां
से
शुरु
किया।
सिमी
के
ज्यादातर
ऑपरेटिव
एमपी
में
ही
हैं,
जोकि
बड़ी
संख्या
में
यहां
की
जेलों
में
बंद
हैं।
पुलिस
के
दावों
का
सच
एक
तरफ
जहां
एमपी
पुलिस
दावा
करती
है
कि
उसने
कई
सिमी
मॉड्यूल
को
खत्म
कर
दिया
है
लेकिन
आईबी
का
मानना
है
कि
वह
एक
बार
से
अपना
नेटवर्क
मजबूत
करने
में
जुट
गए
हैं।
सिमी
की
जड़े
प्रदेश
में
मजबूत
होने
की
वजह
से
सिमी
एक
बार
फिर
से
अपना
दायरा
बढ़ाने
में
सफल
हो
जाता
है।