विकास दुबे एनकाउटंर पर यूपी पुलिस को मिला शिवसेना का साथ, कहा- ना किए जाएं सवाल
नई दिल्ली। कानपुर में आठ पुलिसकर्मियों की हत्या के आरोपी विकास दुबे के कथित एनकाउंटर को लेकर उत्तर प्रदेश पुलिस को शिवसेना का साथ मिला है। शिवसेना सांसद संजय राउत ने कहा है कि जो दुबे ने किया, उसका यही अंजाम होना चाहिए था। किसी को भी पुलिस पर सवाल नहीं करना चाहिए। विकाय दुबे की नाटकीय गिरफ्तारी और फिर एनकाउंटर को लेकर विपक्षी दल जांच की मांग कर रहे हैं। ऐसे में शिवसेना ने यूपी पुलिस की कार्रवाई को सही ठहराया है।
क्या बोले राउत
शिवसेना के सांसद संजय राउत ने इस पूरे मामले पर कहा, एक असामाजिक तत्व जो गुंडों का एक गिरोह चलाता है। पुलिसकर्मियों पर हमला करता है, आठ पुलिसवालों को मारता है, तो उसे माफ नहीं किया जा सकता है। अगर वह मुठभेड़ में मारा गया है, तो मुझे लगता है कि पुलिस पर सवाल उठाना और उनका मनोबल गिराना सही नहीं है। वर्दी पर हमला करने का मतलब है कि कोई कानून और व्यवस्था नहीं है। राज्य पुलिस द्वारा सख्त कार्रवाई करना आवश्यक है, चाहे वह महाराष्ट्र हो या उत्तर प्रदेश।मुठभेड़ में दुबे के मारे जाने पर आंसू बहाने की कोई जरूरत नहीं है।
राउत ने कहा, अगर 8 पुलिसकर्मी ऐसे मारे जाते हैं तो राज्य सरकार के पास कोई दूसरा विकल्प नहीं है। पुलिस ने एनकाउंटर किया है तो किसी को भी सवाल नहीं उठाना चाहिए। चाहे वह मीडिया हो, राजनीतिक दल या मानवाधिकार आयोग। जांच करें लेकिन इस पर राजनीति ना करें।
कई दलों ने उठाए हैं सवाल
विकास दुबे के एनटाउंटर को लेकर कांग्रेस, सपा, बसपा, राजद, रालोद समेत कई दलों ने सवाल उठाए हैं। अखिलेश यादव ने कहा कि दरअसल ये कार नहीं पलटी है, राज खुलने से सरकार पलटने से बचाई गई है। बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा, कानपुर पुलिस हत्याकांड की तथा साथ ही इसके मुख्य आरोपी दुर्दान्त विकास दुबे को मध्यप्रदेश से कानपुर लाते समय आज पुलिस की गाड़ी के पलटने और पुलिस के उसे मार गिराए जाने के मामलों की माननीय सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में निष्पक्ष जांच होनी चाहिए।
कांग्रेस ने मुठभेड़ में विकास दुबे की मौत पर कहा, विकास दुबे एनकाउंटर में मारा गया। कई लोगों ने पहले ही ये आशंका जताई थी। पर अनेकों सवाल छूट गए- पहला अगर उसे भागना ही था, तो उज्जैन में सरेंडर ही क्यों किया? दूसरा- उस अपराधी के पास क्या राज थे जो सत्ता-शासन से गठजोड़ को उजागर करते और तीसरा- पिछले 10 दिनों की कॉल डिटेल जारी क्यों नहीं?
शुक्रवार सुबह हुआ था एनकाउंटर
विकास दुबे को मध्य प्रदेश के उज्जैन महाकाल मंदिर से गुरुवार सुबह नाटकीय अंदाज में पुलिस ने गिरफ्तार किया था। जिसके बाद उत्तर प्रदेश ये एसटीएफ उज्जैन पहुंची थी और उसे कानपुर ला रही थी। पुलिस का कहना है कि शुक्रवार तड़के जिस गाड़ी से दुबे को लाया जा रहा था वो दुर्घटनाग्रस्त हो गई और उसने भागने की कोशिश की। जिसके बाद उसे मार दिया गया। विकास दुबे पर कानपुर में गोलियां बरसाकर आठ पुलसकर्मियों की जान लेने का आरोप था। इसके अलावा भी उस पर कई मुकदमें चल रहे थे।
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