अब देशभर में सरकारी विज्ञापनों में सिर्फ पीए, राष्ट्रपति और मुख्य न्यायाधीश की तस्वीर लगेगी
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने आज अपने ऐतिहासिक फैसले में सरकारी विज्ञापनों पर नेताओं की तस्वीरों को लगाने पर रोक लगा दी है। सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि सरकारी विज्ञापनों में अब सिर्फ प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति और सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश की ही तस्वीर लगायी जा सकती है।
सुप्रीम कोर्ट ने सभी सरकारी विज्ञापनों पर मंत्रियों, मुख्यमंत्रियों पार्टी के अध्यक्षों की तस्वीरों को सरकारी विज्ञापनों में लगाये जाने पर रोक लगा दी है। कोर्ट के इस फैसले के बाद अब सरकारी विज्ञापनों में इन सभी नेताओं और अहम व्यक्तियों की तस्वीरों को छापने पर पाबंदी लग जाएगी।
कोर्ट ने कहा कि सरकारी विज्ञापनों में नेताओं की तस्वीरें लगाकर सरकारी धन का उपयोग इन नेताओं के निजी फायदे में इस्तेमाल होता है। कोर्ट ने कहा कि देश में व्यक्ति विशेष को बढ़ावा दिये जाने की इजाजत नहीं दी जा सकती है।
सुप्रीम कोर्ट की बेंच जिसकी अध्यक्षता जस्टिस रंजन गोगोई ने की कहा कि राजनैतिक फायदे के लिए सरकार को जनता का पैसा इस्तेमाल करने की इजाजत नहीं दी जा सकती है।
हालांकि कोर्ट ने इस अपील को खारिज कर दिया जिसमें कहा गया था कि चुनाव के छह महीने पहले सरकारी विज्ञापनों पर रोक लगा देनी चाहिए। वहीं सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को तीन सदस्यीय एक कमेटी गठित करने का भी निर्देश दिया है जो इस बात की पुष्टि करेगी कि सरकारी धन का बेजा इस्तेमाल तो नहीं किया जा रहा है।