सबरीमाला विवाद में बचाव पक्ष ने कहा- ऐसे कई मंदिर हैं जहां पुरुषों की एंट्री पर बैन है
नई दिल्ली। सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश पर रोक से जुड़े मामले की मंगलवार (24 जुलाई) को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। मंदिर की परंपरा का पक्ष लेते हुए सुप्रीम कोर्ट में बचाव पक्ष के वरिष्ठ वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने इस मामले की सुनवाई कर रही बेंच से कहा कि इस देश में ऐसे कई मंदिर हैं जिसमें पुरुषों को प्रवेश की अनुमति नहीं है। इंडियन एक्सप्रेस में छपी खबर के मुताबिक सिंघवी ने अदालत में यह भी कहा कि बिना किसी सबूत के कि किसी प्राचीन परंपरा या विश्वास सही होने की जांच के लिए अदालत का दरवाजा बिना किसी सबूत के खटखटाया नहीं जा सकता।
आपको बता दें कि केरल के ऐतिहासिक सबरीमाला मंदिर में 10 वर्ष से लेकर 50 वर्ष तक की महिलाओं का प्रवेश वर्जित है। सुप्रीम कोर्ट ने पिछली सुनवाई के दौरान कहा था कि महिलाओं को भी पुरुषों की तरह पूजा करने का बराबर का अधिकार है और यह किसी कानून के ऊपर निर्भर नहीं है।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि जो नियम पुरुषों पर लागू होता है, वही महिलाओं पर भी लागू होता है। कोर्ट ने बोर्ड को आड़े हाथों लेते हुए पूछा कि केरल हाईकोर्ट में तो ये कहा था कि सबरीमला के देव अय्यप्पा के मंदिर में सालाना उत्सव के शुरुआती पांच दिन महिलाओं के दाखिल होने की छूट है. यानी कोई पाबन्दी नहीं तो अब यहां विरोधाभासी बयान क्यों दिया जा रहा है?