नहीं बढ़ी मुकेश अंबानी की सैलरी, लगातार 11वें साल मिलेगा इतना वेतन
नई दिल्ली। भारत के सबसे अमीर शख्स और रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक मुकेश अंबानी की सैलरी में लगातार 11वें साल भी कोई बढ़ोतरी नहीं की गई है। मुकेश अंबानी की सैलरी 15 करोड़ रुपए बरकरार रखी गई है। जबकि वहीं 31 मार्च 2019 को खत्म हुए वित्त वर्ष में कंपनी के डायरेक्टर्स की सैलरी में अच्छी बढ़ोतरी हुई है। इसमें उनके रिश्तेदार निखिल और हीतल मेसानी भी शामिल हैं।
कंपनी के वार्षिक रिपोर्ट में बताया गया
कंपनी की वार्षिक रिपोर्ट के मुताबिक चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशक मुकेश अंबानी की कुल परिलब्धियां वार्षिक 15 करोड़ रुपये के स्तर पर बरकरार रखी गई हैं। इसमे बताया गया है कि मुकेश अंबानी के वित्त वर्ष 2018-19 की परिलब्धियों में 4.45 करोड़ रुपये वेतन एवं भत्ते के रूप में दिए गए। जबकि उनका वेतन एवं भत्ता 2017-18 में 4.49 करोड़ रुपए रहा था। बता दें कि रिलायंस इंडस्ट्रीज के चेयरमैन मुकेश अंबानी ने खुद से ही अपना मानदेय स्थिर रखने की अक्टूबर 2009 में घोषणा की थी।
करीबी रिश्तेदारों की सैलरी में बढ़ोतरी
दूसरी ओर से निखिल और हीतल दोनों को 2018-19 में 20.57-20.57 करोड़ का पैकेज दिया गया है। जबकि एक साल पहले मतलब 2017-18 में इन दोनों लोगों को सैलरी के रूप में 19.99 करोड़ रुपए मिले थे। 2016-17 में 16.58 करोड़ रुपये सैलरी के रूप मे मिले। 2015-16 में निखिल को 14.42 करोड़ रुपये मिले थे, जबकि हितल को 14.41 करोड़। जबकि 2014-15 में, उन्हें सैलरी के रूप में 12.03 करोड़ रुपये मिले थे। वहीं कंपनी के कार्यकारी निदेशक पीएमएस प्रसाद का मानदेय 8.99 करोड़ रुपए से बढ़ाकर 10.01 करोड़ किया गया है।
नीता अंबानी को मिले इतने रुपए
वहीं रिफाइनरी के प्रमुख पवन कुमार कपिल की सैलरी में भी बढ़ोतरी की गई है। 2017-18 में 3.47 करोड़ रुपये से मिले थे जिसे अब बढ़ाकर 4.17 करोड़ रुपये कर दिया गया है। दूसरी ओर से कंपनी के गैर-कार्यकारी निदेशक नीता अंबानी और एसबीआई की पूर्व चेयरमैन अरूंधति भट्टाचार्य को मिलने वाले कमीशन और फीस में भी इजाफा किया गया है। नीता अंबानी को कमीशन के रूप में 1.65 करोड़ रुपए का कमीशन मिला जबकि सिटिंग फीस के तौर पर 7 लाख रुपए मिले। दूसरी ओर से भट्टाचार्या को 75 लाख रुपए कमीशन के रूप में मिले और बोर्ड की बैठक में शामिल होने के लिए सात लाख रुपए मिले हैं।
Jio का बजा डंका, एयरटेल को पछाड़कर बनी दूसरी बड़ी टेलीकॉम कंपनी