राफेल डील को राहुल गांधी ने बताया ग्लोब्लाइज्ड करप्शन, सौदे से 10 दिन पहले अनिल अंबानी ने किया था फ्रेंच फिल्म के निर्माण का ऐलान
नई दिल्ली। फ्रांस के साथ हुई राफेल फाइटर जेट की डील का मुद्दा एक बार फिर से गर्म हो गया है। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने शुक्रवार को इंडियन एक्सप्रेस की एक रिपोर्ट को ट्वीट किया है जिसमें कहा गया है कि डील के 10 दिन पहले ही अनिल अंबानी के स्वामित्व वाली रिलायंस एंटरटेनमेंट की ओर पूर्व फ्रेंच राष्ट्रपति फ्रैंकोइस होलांद की पार्टनर की एक फिल्म के लिए ज्वॉइन्ट पार्टनरशिप का ऐलान किया गया था। यह ऐलान उस समय किया गया था जब राफेल पर बातचीत जारी थी। रिलांयस इस फिल्म के साथ बतौर सह निर्माता जुड़ा था। राहुल के इस ट्वीट के साथ ही एक बार फिर ठंडे पड़ चुके दूध में उबाल आने की पूरी संभावना है।
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क्या कहा है राहुल ने अपनी ट्वीट में
राहुल गांधी ने जो ट्वीट किया है उसमें लिखा है, 'ग्लोब्लाइज्ड भ्रष्टाचार। यह राफेल एयरक्राफ्ट वास्तव में काफी दूर तक और काफी तेज उड़ता है। यह अगले कुछ हफ्तों में बड़े बंकर बस्टर बम गिराने वाला है। मोदी जी, प्लीज अनिल को बताइए फ्रांस में एक बड़ी समस्या होने वाली है।' अपनी ट्वीट के साथ ही राहुल ने इंडियन एक्सप्रेस का आर्टिकल भी शेयर किया है। राहुल ने गुरुवार को कहा है, 'अनिल अंबानी पर 45,000 करोड़ रुपए का कर्ज है और उन्होंने डील से 10 दिन पहले ही कंपनी का गठन किया। अंबानी और पीएम मोदी के बीच क्या डील है?' अंबानी की ओर से राहुल को चिट्ठी लिखी गई थी। इस चिट्ठी में अनिल अंबानी ने कहा था कि राफेल डील की वजह से उन पर हो रहे व्यक्तिगत हमलों से वह काफी आहत हैं। अंबानी ने कांग्रेस के कुछ प्रवक्ताओं को भी डील पर बोलने की वजह से नोटिस भेजा था।
जनवरी 2016 में भारत आए थे होलांद
फ्रांस के पूर्व राष्ट्रपति होलांद जनवरी 2016 में गणतंत्र दिवस के मौके पर बतौर मुख्य अतिथि भारत आए थे। इसी दौरान होलांद और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बीच एक एमओयू साइन किया गया। इस एमओयू के तहत भारत को 36 राफेल फाइटर जेट दिए जाने थे। एमओयू के साइन होने के दो दिन पहले ही रिलायंस एंटरटेनमेंट की ओर से होलांद की साथी और फ्रेंच एक्टर जूली गायत के साथ एक फिल्म को-प्रोड्यूस करने का ऐलान किया जा चुका था। इसके बाद इसी वर्ष अंबानी की रिलायंस डिफेंस को 59,000 करोड़ रुपए वाली राफेल डील में हिस्सेदार बनाया गया। अनिल अंबानी की कंपनी डसॉल्ट रिलायंस एरोस्पेस लिमिटेड (डीआरएएल) और डसॉल्ट एविएशन के जरिए इस डील को पूरा किया जाना था।
26 जनवरी को साइन हुआ एमओयू
24 जनवरी 2016 को रिलायंस की ओर से ऐलान किया गया कि उसने गायत की कंपनी रुज इंटरनेशनल के साथ एक एग्रीमेंट किया है। इस एग्रीमेंट के तहत एक फ्रेंच फिल्म का प्रोडक्शन साथ में मिलकर किया जाएगा। 26 जनवरी 2016 को भारत और फ्रांस के बीच 36 जेट्स के लिए एक एमओयू साइन किया गया। इसके तहत भारत को 36 जेट्स उड़ने की हालत या रेडी टू यूज हालत में दिए जाने वाले थे। इस डील को अंतर-सरकारी समझौता करार दिया गया। पहले इस सौदा होलांद के दौरे पर साइन होना था लेकिन कुछ वित्तीय मुद्दों की वजह से यह साइन नहीं किया जा सका। फिल्म के लिए रिलायंस ने निर्माण में मदद की। इस फिल्म को फ्रेंच एक्टर और फिल्ममेकर सर्ज हैजानाविसियत की ओर से डायरेक्ट किया गया था। यह फिल्म जिसका टाइटल था टाउट ला हौट, 20 दिसंबर 2017 को रिलीज हुई थी।
रिलीज से पहले नागपुर में मैन्यूफैक्चरिंग यूनिट
फिल्म की रिलीज के आठ हफ्ते पहले डसॉल्ट एविएशन चेयरमैन एरिक ट्रापियर और अंबानी ने नागपुर में डीआरएएल की नींव रखी थी। नागपुर में मैन्यूफैक्चरिंग यूनिट की नींव जिस समय रखी जा रही थी उस समय फ्रांस की रक्षा मंत्री फ्लोरेंस पारले, भारत के सड़क और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस और भारत में फ्रांस के राजदूत एलेक्जेंडर जिएग्लर मौजूद थे। रिलायंस की ओर से फ्रांस की जिस फिल्म को को-प्रोड्यूस किया गया वह 98 मिनट की थी। उसे पहली बार साल 2017 में स्पेन में हुए सैन सेबेस्चियन अंतरराष्ट्रीय फिल्म महोत्सव में प्रदर्शित किया गया था। इसके अलावा इसे यूएई,यूएई, ताइवान, बेल्जियम, एस्टोनिया और लताविया समेत आठ और देशों में डिस्ट्रीब्यूट किया गया था। हालांकि फिल्म भारत में रिलीज नहीं हुई।
होलांद के साथ रहती हैं जूली
36 राफेल की डील होलांद के कार्यकाल में ही साइन हुई थी और उस समय जूली, होलांद के साथ पेरिस स्थित एलेसी पैलेस में ही रह रही थी। एलेसी पैलेस फ्रेंच राष्ट्रपति का आधिकारिक निवास है। होलांद मई 2012 से मई 2017 तक फ्रांस के राष्ट्रपति थे और जूली के साथ उनकी रिलेशनशिप पहली बार जनवरी 2014 में सबके सामने आई थी। अक्टूबर 2016 में पहली बार डसॉल्ट और रिलायंस की ओर से एक भारत में एक ज्वॉइन्ट वेंचर का ऐलान किया गया था और होलांद ही उस समय फ्रांस के राष्ट्रपति थे। इससे 10 दिन पहले 23 सितंबर 2016 को भारत और फ्रांस के रक्षा मंत्रियों के बीच 59,000 करोड़ रुपए की डील को साइन किया जा चुका था।