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राम जेठमलानी: 13 वर्ष की उम्र में पास की 10वीं की परीक्षा, 17 वर्ष की आयु में बने वकील, उनके लिए बदले गए थे नियम

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नई दिल्ली। पूर्व केंद्रीय कानून मंत्री और जानेमाने वकील राम जेठमलानी का 95 वर्ष की आयु में आज सुबह निधन हो गया, वह पिछले काफी समय से बीमार चल रहे थे। जानकारी के अनुसार राम जेठमलानी पिछले दो हफ्ते से लगातार डॉक्टरों की निगरानी में थे। राम जेठमलानी का एक बेटा महेश जेठमलानी और एक बेटी है। महेश जेठमलानी भी वरिष्ठ वकील हैं। राम जेठमलानी की बेटी अमेरिका में रहती हैं। राम जेठमलानी ने कई हाई प्रोफाइल केस लड़े हैं।

17 वर्ष की उम्र में बने वकील

17 वर्ष की उम्र में बने वकील

राम जेठमलानी का जन्म 14 सितंबर 1923 को पाकिस्तान के सिंध में हुआ था। उन्होंने महज 13 वर्ष की आयु में 10वीं की परीक्षा पास कर ली थी और 17 वर्ष की आयु में बॉम्बे यूनिवर्सिटी से एलएलबी की पढ़ाई पूरी की थी। उस वक्त वकालत की न्यूनतम आयु 21 वर्ष थी, लेकिन जेठमलानी को इस नियम से विशेष छूट दी गई थी। भारत-पाकिस्तान के बीच बंटवारे के बाद जेठमलानी ने अपने दोस्त की सलाह पर पाकिस्तान छोड़ भारत आने का फैसला लिया।

18 वर्ष की आयु में शादी

18 वर्ष की आयु में शादी

जेठमलानी का महज 18 वर्ष की आयु में दुर्गा नाम की महिला से विवाह हो गया था। लेकिन भारत पाकिस्तान के बंटवार से पहले जेठमलानी ने 1947 में रत्ना शाहनी से विवाह कर लिया था। दुर्गा से राम जेठमलानी के तीन बच्चे रानी, शोभा और महेश हैं जबकि पहली दूसरी पत्नी रत्ना से उन्हें एक बेटा जनक है। महेश जेठमलानी भी वरिष्ठ वकील हैं, जबकि शोभा अमेरिका में रहती हैं।

चर्चित केस लड़े

चर्चित केस लड़े

राम जेठमलानी ने कई अहम केस लड़े जिसकी वजह से वह हमेशा चर्चा में रहे। उन्होंने नानावटी बनाम महाराष्ट्र सरकार, पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के हत्यारों सतवंत सिंह औ बेअंत सिंह, हर्षद मेहता स्टॉक मार्केट घोटाला, हाजी मस्तान केस, हवाला स्कैम, मद्रास हाईकोर्ट, आतंकी अफजल गुरु, जेसिका लाल मर्डर केस, 2जी स्कैम और आसाराम का केस लड़ा था। उन्होंने इसके अलावा बाबा रामदेव, राजीव गांधी के हत्यारों, लालू यादव, जयललिता और जगन रेड्डी का भी केस लड़ा था। राम जेठमलानी एक समय में सबसे ज्यादा टैक्स भरने वाले लोगों में शामिल थे।

दो बार लोकसभा सदस्य

दो बार लोकसभा सदस्य

राम जेठमलानी ने 6ठी और सातवी लोकसभा में भाजपा के टिकट पर संसद के सदस्य भी रह चुके हैं। अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार में वह देश के कानून मंत्री भी रह चुके हैं। इसके अलावा वह अर्बन डेवलपमेंट मंत्रालया का भी जिम्मा संभाल चुके हैं। उन्होने 2004 में अटल बिहारी वाजपेयी के खिलाफ लखनऊ से लोकसभा चुनाव लड़ा था, उस वक्त कांग्रेस ने अपना उम्मीदवार नहीं उतारा था, लेकिन जेठमलानी को चुनाव में हार का सामना करना पड़ा था। जेठमलानी को 7 मई 2019 में सुप्रीम कोर्ट बार असोसिएशन का अध्यक्ष चुना गया था।

2010 में पहुंचे थे राज्यसभा

2010 में पहुंचे थे राज्यसभा

2010 में एक बार फिर से भाजपा ने उन्हें राज्यसभा का टिकट दिया, लेकिन अक्टूबर 2013 में उन्हें पार्टी विरोधी गतिविधि की वजह से छह साल के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था। जिसके बाद उन्होंने भाजपा के खिलाफ 50 लाख रुपए की मानहानि का केस दर्ज किया था। उन्होंने पार्टी के नेताओं द्वारा उनके खिलाफ दिए गए बयान से उनकी व्यक्तिगत छवि को नुकसान पहुंचाने के एवज में यह केस दायर किया था। जेठमलानी ने 2017 में वकालत से संन्यास लेने की घोषणा की थी।

इसे भी पढ़ें- 17 साल की उम्न में जेठमलानी को मिली थी लॉ की डिग्री, लाखों में थी इनकी फीसइसे भी पढ़ें- 17 साल की उम्न में जेठमलानी को मिली थी लॉ की डिग्री, लाखों में थी इनकी फीस

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English summary
Ram Jethmalani a complete profile who became lawyer at 17 married at 18.
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