महज 35 रुपये के खातिर इंजीनियर एक साल से लड़ रहा है IRCTC के खिलाफ केस
जयपुर। राजस्थान में कोटा के इजींनियर सुजीत स्वामी ने आईआरसीटीसी के खिलाफ केस ठोका और वो भी 35 रुपये कम देने के खातिर। सबसे बड़ी बात यह है कि यह इंजीनियर पिछले एक साल से आईआरसीटीसी के खिलाफ यह केस लड़ रहे हैं। स्वामी ने वेटिंग टिकट की वजह से 765 रुपये का टिकट कैंसल करवा दिया था, जिसके बाद आईआरसीटीसी ने उन्हें 665 रुपये लौटा दिए, जबकि उन्हें 700 रुपये वापस मिलने थे। स्वामी ने इसके बाद आईआरसीटीसी के खिलाफ लोक अदालत में मुकदमा दायर कर दिया।
मुकदमा दायर होने के बाद रेलवे बोर्ड के चेयरमैन, वेस्ट-सेंट्रल रेलवे जनरल मैनेजर, आईआरसीटीसी के जनरल मैनेजर और कोटा के डिविजनल रेलवे मैनेजर को नोटिस जारी हुआ। स्वामी की ट्रेवलिंग डेट 2 जुलाई थी और 1 जुलाई को जीएसटी लागू हुआ था। लेकिन, स्वामी ने जीएसटी लागू होने से पहले ही टिकट को कैंसल करवा दिया था। स्वामी के वकील रोहित सिंह राजावत ने कहा कि एसीजेएम की ओर से पिटीशन को स्वीकार करते हुए संबंधित पक्षों को नोटिस जारी किया गया है। इस केस पर अगली सुनवाई 28 मई को होनी है।
आईआरसीटीसी के खिलाफ शिकायत दायर करने वाली स्वामी कहते हैं, 'वेटिंग लिस्ट टिकट होने की वजह से कैंसल टिकट पर 65 रुपये ही चार्ज लगता है, लेकिन 100 रुपये चार्ज किए गए। उसके बाद मैंने आईआरसीटीसी में आरटीआई फाइल की और शिकायत भी की। उन्होंने मुझे कहा कि आपका बाकि अमाउंट मिल जाएगा, लेकिन ऐसा अभी तक नहीं हुआ।'
स्वामी ने कहा आईआरटीसी ने अपनी आरटीआई रिप्लाय में कहा कि मिनिस्ट्री ऑफ रेलवे के कमर्शियर सर्कुलर नंबर 43 के अनुसार, अगर जीएसटी लागू होने से पहले टिकट बुक कराते है और जीएसटी के लागू होने के बाद कैंसल करवाते हैं तो बुकिंग के दौरान लिया गया सर्विस चार्ज वापस नहीं होगा। इसलिए कैंसल के दौरान 100 रुपये (65 रुपये क्लरिकल चार्ज और 35 रुपये सर्विस टैक्स) चार्ज किए गए थे। हालांकि, आरटीआई ने बाद में यह भी कहा कि रेलवे ने फैसला लिया था कि जीएसटी लागू होने से पहले बुक टिकटों को कैंसल कराने पर भी सर्विस चार्ज वापस किया जाएगा। आईआरसीटी से आगे कहा कि इस हिसाब से आपके 35 रुपये रिफंड हो जाएंगे।
स्वामी ने एक अन्य आरटीआई रिप्लाय का हवाला देते हुए कहा कि 1 जुलाई से 11 जुलाई के बीच में 9 लाख पैसेंजर्स ने अपने टिकट कैंसल करवाए। उन्होंने कहा, अगर कुल 9 लाख पैसेंजर का सर्विस टैक्स चार्ज जोड़े तो अमाउंट 3.34 करोड़ रुपये बैठता है।