लोकसभा चुनाव 2019: जम्मू लोकसभा सीट के बारे में जानिए
नई दिल्ली: जम्मू-कश्मीर की जम्मू लोकसभा सीट से मौजूदा सांसद भाजपा के जुगल किशोर हैं। उन्होंने साल 2014 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस के मदन लाल शर्मा को 257,280 मतों से हराया था । इस चुनाव में जुगल किशोर को 619,995 और मदन लाल को 362,715 वोट मिले थे। साल 2014 के लोकसभा चुनाव में जम्मू में कुल 1,848,155 मतदाता थे । इनमें 977,308 पुरुष और 870,847 महिला मतदाता थे। साल 2014 के चुनाव में 665,407 पुरुष और 588,186 महिलाओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया था जो कि कुल मतदान 1,253,593 का प्रतिशत 68 था । 56 वर्षीय जुगल किशोर मैट्रिक पास हैं। जुगल किशोर संसद में काफी सक्रियता के साथ डिबेट्स में बढ़ चढ़ कर हिसा लेते रहे हैं ।
जम्मू क्षेत्र में विधानसभा की 37 सीटें हैं। भाजपा ने जम्मू में अपना प्रदर्शन काफी सुधारा है। पिछले चुनाव में बीजेपी का मिशन "44प्लस" का था लेकिन पूरी ताकत झोंकने के बाद भी पार्टी का आंकड़ा 25 सीटों से आगे नहीं बढ़ सका था. क्षेत्र में भाजपा को 67 फीसदी कामयाबी मिली। इसी कामयाबी के चलते जम्मू कश्मीर में पीडीपी के साथ गठबंधन सरकार बनाने का प्रयोग भारतीय जनता पार्टी ने किया था लेकिन यह प्रयोग बहुत सफल नहीं रहा। पीडीपी को 28 सीटें मिलीं, भाजपा को 25, नेशनल कॉन्फ़्रेंस को 15 और कांग्रेस 12 तक पहुंच सकी. और 44 के जादुई आंकड़े तक पहुंचने के लिए दो का हाथ मिलाना ज़रूरी हो गया ।
बीजेपी की प्रदेश इकाई ने गठबंधन सरकार के समय जम्मू संभाग के साथ भेदभाव का आरोप लगाया था। लगभग 40 महीने गठबंधन सरकार में रहने के बाद पार्टी के कार्यकर्ताओं का मानना है कि अब वो गठबंधन सरकार की बंदिशों से आज़ाद हो गए हैं और नए जोश के साथ जनता के बीच जाने को तयार हैं । भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष रवींदर रैना कहते हैं, "साल 2014 का चुनाव हमारे लिए सेमीफ़ाइनल था । साल 2019 के बाद होने वाला विधानसभा का चुनाव हमारे लिए फाइनल होगा।" जबसे भाजपा गठबंधन सरकार से बाहर निकली है, तभी से चर्चा इस बात पर हो रही है कि इस फैसले का राजनीतिक फायदा आखिर किसे मिलेगा। अब भाजपा के सामने सबसे बड़ी चुनौती जम्मू में अपने जनाधार को बचाकर रखना है । पीडीपी के साथ गंठबंधन सरकार में शामिल होने से पहले भाजपा ने जनता से विकास के नाम पर बड़े-बड़े वादे किए थे।
नरेंद्र मोदी ने चुनाव प्रचार के दौरान प्रदेश को 'सुपर स्टेट' बनाने का वादा किया था। लेकिन भाजपा अपने डेवलपमेंट एजेंडा को पूरी तरह से अमली जामा पहनाने में कामयाब नहीं हो पाई । पार्टी के नेता ये अच्छी तरह समझते हैं कि उन्होंने लोगों से जो वादे किए थे, उन पर पूरी तरह खरे नहीं उतरे हैं । राज्य की राजनीति पर लंबे समय से नज़र रख रहे पत्रकार अश्विनी कुमार का मानना है कि जम्मू से असेंबली की 25 सीट जीतने के बाद भी भाजपा जनता के दिलों पर राज नहीं कर पाई । अब सबसे बड़ासवाल यही उठ रहा है कि क्या इस बार लोकसभा सीट पर कमल खिला पाएंगे या फिर एक बार फिर से काग्रेंस का हाथ ही चलेगा।