अंबानी, बच्चन और कपूर सभी खाते हैं इस दुकान पर पान, जानिए क्या है इनकी कहानी
नई दिल्ली। आपने बहुत कम पानवालों को ऐसे देखा होगा जो इस काम को जुनूनियत से करते हों, लेकिन दिल्ली के पॉश इलाकों में से एक ग्रेटर कैलाश में पान की दुकान चलाने वाले यश टेकवानी इसे गर्व समझते हैं। प्रिंस पान कॉनर्र के मालिक टेकवानी खुद को पान बनाने का मास्टर बताते हैं। उन्होंने पान की दुकान की सर्वव्यापी तस्वीर को बदल एक अलग तरह की दुकान बना रखी है। हालांकि यह उन्हें उनके पिता से विरासत में मिली है। प्रिंस पान कॉर्नर के नौ चेन हैं जिनमें से दो थाईलैंड में हैं। टेकवान बहुत जल्द लंदन में भी अपनी दुकान खोलने वाले हैं। आप जानकर सोच में पड़ जाएंगे कि टेकवानी के पान का स्वाद अंबानी, बच्चन और कपूर तक चख चुके हैं।
पानवालों से बिल्कुल अलग दिखते हैं टेकवानी
शूट-बूट, अंगुलियों में सोने की बड़ी-बड़ी अंगुठियां और गले में सोने की मोटी चेन पहले हुए टेकवानी और पानवालों से बिल्कुल अलग दिखते हैं। टेकवानी का कहना है कि पान के पत्ते पर कुछ मसाले और चटनी-सौंफ डालना ही पान बनाना नहीं है। हमारे परिवार ने यह साबित कर दिया है कि पान बेचना कोई छोटा व्यापार नहीं है। हम अपनी गुणवत्ता और विशिष्ट ग्राहकों के लिए जाने जाते हैं।
श्री देवी, अक्षय, शाहरुख, अमिताभ और अंबानी तक खा चुके हैं इनका पान
अपने पान की दुकान पर टेकवानी ने कई बॉलीवुड हस्तियों और बड़े-बड़े व्यवसाइयों के साथ तस्वीरें लगा रखी है। लोग पान खाते-खाते उन तस्वीरों को देखते हैं और बाते करते हैं। तस्वीरों में टेकवानी को अमिताभ बच्चन, श्री देवी, अक्षय कुमार, शाहरुख खान और लता मंगेशकर को पान खिलाते देखा जा सकता है। इतना ही नहीं टेकवानी की कई तस्वीरें कपूर खानदान के साथ भी हैं। टेकवानी एक तस्वीर में अंबानी परिवार को भी पान खिलाते देखे जा सकते हैं। टेकवानी का कहना है कि ये सभी उनके ग्राहक हैं। इतना ही नहीं दिल्ली के हर बड़े कारोबारी घराने से रोज पान का ऑर्डर आता है।
पिता की विरासत को आगे बढ़ा रहे हैं टेकवानी
टकेवानी का कहना है कि वह केवल अपने पिता की विरासत को आगे ले जा रहे हैं जिन्होंने कड़ी मेहनत से 1965 में इस दुकान की स्थापना की थी। टेकवानी के पिता भगवान दास विभाजन के बाद पाकिस्तान से भारत आए थे। पान की दुकान खोलने से पहले उन्होंने यहां कूली, पकोड़ा बेचने तक का काम किया। इतना ही नहीं परिवार की स्थिति ऐसी थी कि टेकवानी की मां को घरों में बतौर नौकरानी काम करती थीं। ग्राहकों के लिए पान बनाते-बनाते टेकवानी उन पलों को याद कर भावुक हो जाते हैं। अपनी दुकान की सफलता के पीछे का रहस्य बताते हुए टेकवानी कहते हैं कि इसमें उनके पिता का इजा़द किया हुआ नुस्खा है जिसने पान में अपनी बेदाग छवि छोड़ दी।
कैटरीना और करीना पान है स्पेशल
टकेवानी अपनी दुकान पर दो दर्जन से ज्यादा पानों के वेरायटी सर्व करते हैं। इनमें चॉकलेट पान, कैटरीना पान और करीना पान काफी खास हैं। कैटरीना स्पेशल पान में कथ्था-चूना नहीं होता। वहीं करीना स्पेशल पान में सिर्फ मिंट होता है। टेकवानी का कहना है कि ये दोनों पान खासकर औरतों के लिए हैं। टेकवानी ने बताया कि कैटरीना और करीना पान को एक खास तरह के डिब्बे में पैक कर दिया जाता है जिसपर दुकान की स्टीकर लगी होती है। इसकी कीमत 30 रुपए से लेकर 1100 रुपए तक है।
हनीमून स्पेशल पान भी है दुकान की खासियत
इस दुकान की जो सबसे महंगी पान है वो है हनीमून पान। इसमें कामोत्तजक गुणों के साथ जड़ी बूटियों का भी इस्तमाल किया जाता है। हालांकि इन दिनों जलता हुआ पान (फायर पान) खाने का ट्रेंड है। आपको बता दें कि खाने से पहले इस पान में मौजूद लौंग को जलाया जाता है जिससे आग की लपटे उठती है। खिलाने का कला ऐसा होता है कि मुंह में जाते ही आग बुझ जाती है।