पीएम मोदी ने किया खेलो इंडिया स्कूल गेम्स का उद्घाटन, 3500 एथलीट दिखाएंगे हुनर
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिल्ली के इंदिरा गांधी स्टेडियम में बुधवार को 'खेलो इंडिया स्कूल गेम्स' का उद्घाटन किया। उद्घाटन समारोह में प्रधानमंत्री मोदी के साथ खेल मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौर भी मौजूद रहे। खेलो इंडिया गेम्स का ये पहला आयोजन है, जिसकी राजधानी दिल्ली मेजबानी कर रहा है। ये आयोजन 17 साल से कम उम्र के खिलाड़ियों के लिए है। इस आयोजन के खेल मुकाबले जवाहर लाल नेहरु स्टेडियम, मेजर ध्यानचंद स्टेडियम, करणी सिंह शूटिंग रेंज और एसएमपी स्विमिंग कॉम्पलेक्स में होंगे। देशभर से 16 टीमें आयोजन में हिस्सा ले रही हैं। ये खेल आयोजन 31 जनवरी से आठ फरवरी तक चलेगा।
हॉकी-कबड्डी सहित 16 खेलों में मुकाबले
खेलो इंडिया में 16 स्पोर्ट्स इवेंट होंगे। इसमें तीरंदाजी, एथलेटिक्स, बैडमिंटन, बास्केटबॉल, बॉक्सिग, फुटबॉल, जिम्नास्टिक, हॉकी, जूडो, कबड्डी, खो-खो, शूटिंग, स्विमिंग, वॉलीबॉल, वेट लिफ्टिंग और पहलवानी शामिल है। इस खेल में 197 गोल्ड मेडल, 197 सिल्वर और 273 ब्रॉन्ज मेडल पर खिलाड़ियों की निगाहें हैं। आयोजन में करीब 3500 एथलीट भाग रहे हैं। इनके अलावा 1250 अधिकारी, 800 वालिन्टियर और 250 दूसरे कर्मचारी आयोजन में शरीक हैं।
खेलों क लिए जरूर वक्त निकालें: मोदी
पीएम मोदी ने इस दौरान कहा कि हमें खेल को जीवन का अहम हिस्सा बनाना चाहिए और अपनी दिनचर्या से खेल के लिए वक्त जरूर निकालना चाहिए। नरेन्द्र मोदी ने कहा कि देश में खेल प्रतिभाओं की कमी नहीं है और सरकार ऐसे खिलाड़ियों का सहयोग करना चाहती है, जिन्हें खेल से प्यार है और जो समर्पण भाव से खेलते हैं। मोदी ने उद्घाटन समारोह में कहा कि खेलों का युवाओं के जीवन में मुख्य स्थान होना चाहिए।
हम खेलों की दुनिया में बन सकते हैं बड़ी ताकत: पीएम मोदी
पीएम मोदी ने युवा खिलाड़ियों से कहा कि हमारा देश जवान है और हम खेल के क्षेत्र में और बेहतर कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि जब हम कहते हैं कि भारत का स्थान दुनिया के मंच पर बढ़ रहा है, इसका केवल यह अर्थ नहीं है कि सिर्फ हमारी सेना मजबूत हो रही है या अर्थव्यवस्था सुदृढ़ हो रही है। इसमें भारत के ऐसे लोग भी शामिल है, जिन्होंने विशिष्ट पहचान बनाई है. इनमें वैज्ञानिक, कलाकार, खिलाड़ी शामिल हैं । मोदी ने कहा कि 'खेलो इंडिया' का मतलब केवल पदक जीतना नहीं है. यह और अधिक खेलने के जन आंदोलन को मजबूत बनाने की दिशा में प्रयास है।