दिल कमजोर है तो मत देखें गेल पाइपलाइन अग्निकांड की तस्वीरें
हैदाराबाद। आंध्र प्रदेश के गोदावरी जिले के नगराम गांव में गेल की गैस पाइपलाइन फटने से 14 लोगों की मौत हो गई। इस भयावह हादसे में गांव का एक बड़ा इलाका आग की चपेट में आ गया। धू-धू कर लपटें उठीं, जिनमें झोपड़ियों समेत नारियल के तमाम पेड़ जल गये। दरबे में बंद मुर्गियों व अन्य पक्षी वहीं भुन गये।
भारतीय गैस प्राधिकरण लिमिटेड (गेल) की पाइपलाइन में शुक्रवार को विस्फोट और आग से 14 लोगों की मौत की घटना तटीय आंध्र के लोगों के लिए चिंता का सबब बन गई है। तटीय आंध्र के लोग तेल और गैस कंपनियों से उचित सुरक्षा उपायों की मांग कर रहे हैं। पाइपलाइन से संदिग्ध तौर पर गैस लीकेज के कारण धमाका और आग ने केजी बेसिन के निकट स्थित नागराम गांव को तबाह कर दिया।
पाइपलाइन सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी गेल की है। इस घटना से पूर्वी गोदावरी और पश्चिमी गोदावरी जिले के ग्रामीणों में भय व्याप्त है।
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पहले दी थी सूचना
स्थानीय लोगों का कहना है कि उन्होंने संबंधित अधिकारियों को पहले ही गैस लीकेज और जंग से बेकार हुए पाइपलाइन के बारे में इत्तिला दी थी, लेकिन उसे नजरंदाज किया गया।
व्यवस्था में कमी
केंद्रीय पेट्रोलियम और गैस मंत्री धर्मेद्र प्रधान ने व्यवस्था में कमी को स्वीकार किया।
दो दशक में पहली ऐसी घटना
दो दशक में यहां पहले भी ऐसी घटनाएं हो चुकी हैं, लेकिन शुक्रवार को हुई इस घटना में पहली बार रिहायशी लोगों को जान गंवानी पड़ी है।
पहली बार गई जान
पहले की घटना तेल और गैस सुविधाओं के नुकसान तक ही सीमित थी।
एचपीसीएल की भी है रिफाइनरी
पिछले साल अगस्त में विशाखापटनम के हिंदुस्तान पेट्रोलियम कारपोरेशन लिमिटेड (एचपीसीएल) की रिफायनरी सह पेट्रोरसायन परिसर में लगी आग में 25 कर्मचारियों की मौत हो गई थी।
संदिग्ध रूप से हुआ रिसाव
आंध्र प्रदेश में गेल की एक गैस पाइपलाइन में शुक्रवार को संदिग्ध रिसाव के कारण हुए विस्फोट के बाद भीषण आग लग गई और 15 ग्रामीण उसमें जीते जी जल मरे और 30 अन्य लोग झुलस गए।
दो-दो लाख का मुआवजा
केंद्र सरकार ने इस हादसे की जांच का आदेश दिया है और मृतकों के अश्रितों को दो-दो लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की है।
नगराम में हुई घटना
आंध्र प्रदेश के पूर्वी गोदावरी जिले के नागाराम गांव से गुजरने वाली पाइपलाइन से कई मीटर ऊंची लपटें उठने लगीं।
नींद से जागे तो देखा आग
विस्फोट के कारण नींद में सोए कई ग्रामीण जाग तो गए, लेकिन लपटों से बच नहीं पाए।
रात को हुआ हादसा
जिस समय हादसा हुआ उस समय गांव के अधिकांश लोग सोए हुए थे। आग की उठती लपटों पर काबू पाने के लिए अग्निशमन विभाग की गाड़ियां दुर्घटना स्थल की ओर दौड़ पड़ीं।
मृतकों में तीन महिलाएं
मारे गए लोगों में तीन महिलाएं और तीन बच्चे शामिल हैं। अधिकारियों ने बताया कि झुलसे हुए लोगों में से 15 की हालत अत्यंत नाजुक बनी हुई है। इस कारण मृतकों की संख्या बढ़ने का अंदेशा है।
होटल मालिक भी
मृतकों में एक होटल मालिक और उसके परिवार के पांच सदस्य भी शामिल हैं।
शव बुरी तरह जले
शव बुरी तरह से जले होने की वजह से उनकी पहचान नहीं हो पाई है। कोनासीमा इलाके में स्थित गांव शोक में डूब गया है। कई मवेशी और पक्षी भी जलकर खाक हो गए हैं।
भारी नुकसान
आग की वजह से भारी नुकसान हुआ है। 10 एकड़ में फैले नारियल के पेड़ और अन्य फसलें नष्ट हो गई हैं।"
घायल अस्पताल में
घायलों को अमालापुरम और काकिनाड़ा कस्बे के अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। घायलों में चार बच्चे भी हैं, जिनमें से एक की उम्र 18 महीने है।
हैदराबाद से 550 किमी दूर
विस्फोट आंध्र प्रदेश की राजधानी हैदराबाद से 550 किलोमीटर दूर तेल एवं ओएनजीसी की तातिपाका रिफाइनरी के नजदीक सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी गेल की पाइपलाइन में हुआ। विस्फोट से गेल की 18 इंच पाइपलाइन उड़ गई।
ग्रामीणों में गुस्सा
इधर, ग्रामीणों ने गांव के नजदीक गैस कलेक्शन स्टेशन के पर हमला किया और कुछ वाहनों को नष्ट कर दिया। उनका आरोप है कि अधिकारियों ने पाइपलाइन से गैस के लीक होने की गंध आने और जंग लगने की शिकायत किए जाने के बावजूद कोई कदम नहीं उठाया।
जांच के आदेश
गेल के अधिकारियों का कहना है कि आग के कारण का अभी पता नहीं चल पाया है। पूरी जांच के बाद ही इस बारे में जानकारी सामने आ सकेगी। उन्होंने बताया कि घटनास्थल पर राहत एवं बचाव कार्य जारी है।
राष्ट्रपति, पीएम ने जताया शोक
राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और आंध्र प्रदेश के नेताओं ने घटना पर दुख प्रकट किया है।
मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू पहुंचे
प्रधानमंत्री ने दुर्घटना में मारे गए लोगों के आश्रितों को दो-दो लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की है। यह राशि पेट्रोलियम मंत्रालय और गेल इंडिया की ओर से दी जाने वाली सहायता के अतिरिक्त होगी।
राष्ट्रपति ने दिये 50 हजार
झुलसे हुए लोगों को 50,000 रुपये की सहायता राशि देने की घोषणा की गई है।
कार्रवाई की जाएगी
मुख्यमंत्री एन.चंद्रबाबू नायडू अपने दिल्ली दौरे को बीच में छोड़कर प्रेट्रोलियम मंत्री धर्मेद्र प्रधान के साथ घटनास्थल की तरफ निकले। नायडू ने घटना में हुई मौत पर दुख प्रकट किया है और कहा कि लापरवाह के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।