महंगाई के बावजूद पेट्रोल-डीजल की डिमांड रिकॉर्ड स्तर पर, पेट्रोल की खपत 2.46 मिलियन टन
नई दिल्ली: पेट्रोल-डीजल की कीमतों में मई महीने में बढ़ोत्तरी से आमजन को काफी दिक्कतें हुई हैं, बावजूद इसके घरेलू मांग में रिकॉर्ड बढ़ोत्तरी हुई है। पेट्रोलियम प्लानिंग ऐंड ऐनलिसिस सेल (PPAC) के मुताबिक पिछले वर्षों की तुलना में इस मई में पेट्रोल-डीजल की मांग में ज्यादा बढ़ी है। ईंधन की खपत पिछले महीने 18.72 मिलियन टन थी, जिसके दौरान डीजल की बिक्री 7.55 मिलियन टन तक बढ़ी और पेट्रोल की खपत 2.46 मिलियन टन हो गई- पीपीएसी डेटा में सबसे ज्यादा मासिक बिक्री आंकड़े अप्रैल 1998 के बराबर पहुंच गये।
डीजल और पेट्रोल की बिक्री 7.6 प्रतिशत बढ़ गई
भारत दुनिया का सबसे ज्यादा तेल की खपत करने वाला देश है, जनवरी से मई के बीच इस साल 35. 2 मिलियन टन डीजल खपत हुआ जो कि पिछले साल की तुलना में 6 फीसदी अधिक रहा है।
मई और अप्रैल में डीजल और पेट्रोल की बिक्री 7.6 प्रतिशत बढ़ गई जो कि पिछले साल की तुलना में 2 फीसदी ज्यादा है। इस साल हर महीने लगभग 2.27 मिलियन टन पेट्रोल की खपत होती है। यह 2017 के आंकड़े से 7 फीसदी ज्यादा है।
ईंधन की खपत और भी बढ़ सकती है
वहीं इसके जानकारों का कहना है कि अच्छे मॉनसून के कारण कृषि कार्यों और सरकार के बड़े ढांचागत खर्च के टारगेट के कारण ईंधन की खपत और भी बढ़ सकती है। देश की आधे से अधिक आबादी कृषि पर निर्भर करती है जो डीजल का उपयोग ज्यादा करती है।
मई में बढ़ीं थी तेल की कीमतें
बता दें कि 29 मई को दिल्ली में पेट्रोल की कीमत सर्वोच्च स्तर 78.43 रुपये लीटर और डीजल 69.31 रुपये लीटर तक पहुंच गई थी। जबकि इसमें कमी के साथ अब पेट्रोल की कीमत आज 76.58 रुपये लीटर और डीजल 67.95 रुपये है। हाल के दिनों में पेट्रोल-डीजल की कीमतों में कुछ कमी आई है।