निर्भया केस: दया याचिका के साथ दोषी विनय ने राष्ट्रपति को भेजी अलग से एक अर्जी, लिखा- आपको बताना चाहता हूं आपबीती
नई दिल्ली। निर्भया मामले में सभी दोषियों को 1 फरवरी को फांसी होनी है। लेकिन एक के बाद एक दोषी कानूनी रास्ता अख्तियार कर रहे हैं, जिससे माना जा रहा है कि 1 फरवरी को होने वाली फांसी की सजा में देरी हो सकती है। इस मामले में एक अन्य दोषी विनय शर्मा ने बुधवार को राष्ट्रपति के पास दया याचिका दाखिल की है और उसे फांसी की सजा नहीं दिए जाने की अपील की है। इस मामले में चार दोषियों में से दूसरे दोषी ने यह दया याचिका दायर की है। इससे पहले मुकेश ने भी दया याचिका दायर की थी, लेकिन राष्ट्रपति ने उसे खारिज कर दिया था।
राष्ट्रपति से दया की गुहार
राष्ट्रपति को विनय शर्मा ने जो दया याचिका भेजी है, उसमे उसने एक अलग से अर्जी भी भेजी है। विनय ने अपने वकील एपी सिंह के जरिेए अपनी मनोस्थिति को राष्ट्रपति को बताने कोशिश की है। विनय ने अपनी अर्जी में कहा है कि जेल में रहने के दौरान उसका बहुत अधिक उत्पीड़न हुआ है। उसने कहा है कि वह अपने वकील के जरिए मौखिक रूप से राष्ट्रपति के सामने अपनी आपबीती रखना चाहता है, लिहाजा मेरी आपसे गुजारिश है कि जो भी उचित समय है वह आप बता दें ताकि उसके वकील एपी सिंह राष्ट्रपति के सामने मौखिक रूप से उसका पक्ष रख सकें।
माता-पिता से मुलाकात का किया जिक्र
अपनी दया याचिका में विनय ने कहा है कि वह कतई जीना नहीं चाहता था। लेकिन जब उसके माता-पिता उससे मिलने के लिए आए तो उन्होंने उससे कहा कि बेटा तुमको देखकर हम जिंदा हैं। उसके बाद से मैंने मरने का खयाल छोड़ दिया है। अपनी अर्जी में विनय ने लिखा है मेरी मां और पिता जी ने मुझसे कहा है कि तू हमारे लिए जिंदा रह। जिस तरह से विनय शर्मा ने राष्ट्रपति से दया याचिका की गुहार लगाई है, उसके बाद सभी दोषियों को 1 फरवरी को फांसी हो पाएगी या नहीं इसपर सवाल खड़े हो रहे हैं।
1 फरवरी को होनी है फांसी
बता दें कि अदालत ने सभी चार दोषियों मुकेश सिंह, पवन गुप्ता, विनय शर्मा और अक्षय ठाकुर को 1 फरवरी को फांसी देने का आदेश दिया है। इससे पहले अदालत ने 22 जनवरी का डेथ वारंट जारी किया था। मुकेश की याचिका की वजह से इसे टालना पड़ा था और 1 फरवरी को सुबह 6 बजे फांसी देने का नया वारंट जारी हुआ था।