'निपाह वायरस' को लेकर फैली दहशत के बीच केंद्र सरकार का बड़ा बयान
नई दिल्ली: पूरा देश 'निपाह वायरस' की वजह से दहशत में है, केरल से लेकर दिल्ली तक, तमिलनाडु से लेकर कन्याकुमारी तक लोग इस वायरस के कारण भयभीत हैं लेकिन लोगों को इसकी वजह से डरने की जरूरत नहीं है बल्कि सावधान रहने की आवश्यकता है। केरल में 11 लोगों की मौत हो चुकी है जबकि निपाह के 18 मामले सामने आये हैं।
वहीं इसको लेकर सरकार ने अफवाहों पर ध्यान न देने की अपील की है और कहा है कि निपाह वायरस से घबराने की जरूरत नहीं है। केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव प्रीती सूडान ने बताया कि यह एक बहुत स्थानीय स्तर पर फैला संक्रमण था और हम इसे काबू करने में सक्षम हैं। स्वास्थ्य सचिव ने कहा कि राज्य ने इस संक्रमण के मामलों की जानकारी अभी दी है।
प्रीती सूडान ने कहा कि इससे भयभीत होने की कोई जरूरत नहीं थी। सभी तरह से इसका पता लगाया जा रहा है और इलाज किया जा रहा है। कुछ सैंपल के रिजल्ट अभी नहीं आए हैं। उन्होंने कहा कि राज्य में स्वास्थ्य कर्मचारियों के लिए उनकी सुरक्षा के लिए विशेष किट वितरित की गई हैं। हर प्रकार से इस वायरस से बचाव के लिए कार्य किये जा रहे हैं। पुणे में करीब 60 सैंपल्स को टेस्ट भी किया गया था।
बता दें कि निपाह से पीड़ित मनुष्य को इस इन्सेफलेटिक सिंड्रोम के रूप में तेज संक्रमण बुखार, सिरदर्द, मानसिक भ्रम, विचलन, कोमा और आखिर में मौत होने के लक्षण नजर आते हैं। मलेशिया में इसके कारण करीब 50 फीसदी मरीजों की मौत तक हो गई थी।
निपाह वायरस मनुष्यों के संक्रमित सुअर, चमगादड़ या अन्य संक्रमित जीवों से संपर्क में आने से फैलता है। यह वायरस एन्सेफलाइटिस का कारण बनता है। यह इंफेक्शन फ्रूट बैट्स के जरिए लोगों में फैलता है। खजूर की खेती करने वाले लोग इस इंफेक्शन की चपेट में जल्दी आते हैं। 2004 में इस वायरस की वजह से बांग्लादेश में काफी लोग प्रभावित हुए थे।