अंडमान की विलुप्त प्रजाति के 11 आदिवासियों में से 9 हुए कोरोना मुक्त
नई दिल्ली। अंडमान और निकोबार प्रशासन ने गुरुवार को कहा कि कोरोना वायरस से संक्रमित हुए 11 अंडमानी जनजातियों में से नौ लोग कोरोना से ठीक हो गए हैं। अंडमान प्रशासन इन जनजातियों पर विशेष नजर बनाए हुआ। इसके साथ ही इन्हें इलाज के लिए स्पेशल ट्रीटमेंट दिया जा रहा है। बता दें कि, अंडमान द्वीप में रहने वाली आदिवासियों की विलुप्त होती प्रजाति के लोग भी कोरोना संक्रमित पाए गए हैं। ये लोग मानव सभ्यता से दूर समुद्र के किनारे जंगली इलाके में रहते हैं।
एक आधिकारिक अधिकारी ने कहा कि ट्राइबल ग्रुप (PVTG) ग्रेट अंडमानी (स्ट्रेट आईलैंड), ओन्जेस (लिटिल अंडमान), जारवास (साउथ अंडमान) और शोम्पेंस (ग्रेटरनिकोबार आइलैंड्स) को लेकर प्रशासन खास ध्यान दे रहा है। अधिकारियों ने कहा कि आदिवासियों के स्वास्थ्य की सख्ती से निगरानी की गई है और उनके परीक्षण को प्राथमिकता देने के कारण मामलों का जल्द पता लगा सका।
ग्रेट अंडमानी जनजातियों के 11 संक्रमित सदस्य उन लोगों में से हैं जो या तो स्वयं सरकारी प्रतिष्ठानों में काम कर रहे थे या फिर उनके परिवार का कोई सदस्य काम कर रहा था। आधिकारिक तौर पर कहा गया है कि दो को छोड़कर इन सभी ग्रेट ग्रेट अंडमानी जनजाति पूरी तरह से ठीक हो गए हैं और वापस अपनी बस्ती में चले गए हैं। अधिकारियों ने कहा कि अन्य तीन जनजातियां कोरोनावायरस से मुक्त हैं।
अधिकारी ने कहा, "पूरी ओंगे आबादी के कोरोना टेस्ट निगेटिव आए हैं। जारवास के तीन अलग-अलग क्षेत्रों में परीक्षण के दौरान कोई कोरोना संक्रमित मामला नहीं मिला है। ग्रेट निकोबार द्वीप में शॉम्पेन भी सुरक्षित हैं। उधर अंडमान निकोबार द्वीप समूह में कोरोना वायरस संक्रमण के 19 नए मामले सामने आए जिसके बाद बृहस्पतिवार को संक्रमण के कुल मामले बढ़कर 30 हो गई है। उन्होंने कहा कि नए मरीजों में से सात ने बाहर यात्रा की थी और 12 लोग संक्रमितों के संपर्क में आने से संक्रमण के शिकार हुए।
अधिकारी ने कहा कि कोविड-19 के 27 और मरीज ठीक हो गए।संघ शासित प्रदेश में अभी 196 मरीजों का इलाज चल रहा है और अब तक कोविड-19 के 3,345 मरीज ठीक हो चुके हैं। उन्होंने कहा कि महामारी से अब तक 52 मरीजों की मौत हो चुकी है।
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