विवाद के बाद Netflix ने 'सेक्रेड गेम्स' में किया बदलाव, कोर्ट में अगली सुनवाई 6 अगस्त को
विवादों में घिर चुकी अभिनेता नवाजुद्दीन सिद्दीकी और सैफ अली खान की वेब सीरिज 'सेक्रेड गेम्स' में आखिर नेटफ्लिक्स ने बदलाव कर दिए हैं। दिल्ली हाईकोर्ट में नेटफ्लिक्स ने बताया कि उसने पूर्व प्रधानमत्री राजीव गांधी के लिए इस्तेमाल किए गए एक शब्द को बदल दिया है।
नई दिल्ली। विवादों में घिर चुकी अभिनेता नवाजुद्दीन सिद्दीकी और सैफ अली खान की वेब 'सीरिज सेक्रेड' गेम्स में आखिर नेटफ्लिक्स ने बदलाव कर दिए हैं। दिल्ली हाईकोर्ट में नेटफ्लिक्स ने बताया कि उसने पूर्व प्रधानमत्री राजीव गांधी के लिए इस्तेमाल किए गए एक शब्द को बदल दिया है। ये बदलाव सीरिज के इंग्लिश सबटाइटल में किया गया है। बता दें कि नेटफ्लिक्स पर 'सेक्रेड गेम्स' में पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के लिए आपत्तिजनक शब्दों का इस्तेमाल करने का आरोप लगा था। शो के खिलाफ कई शहरों में याचिका भी दायर की गई थी।
इंग्लिश सबटाइटल में किया बदलाव
नेटफ्लिक्स ने दिल्ली हाईकोर्ट की जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस चंदर शेखर की बेंच को बताया कि उसने शो के सबटाइटल में बदलाव कर दिए हैं। नेटफ्लिक्स ने इंग्लिश सबटाइटल में राजी गांधी के लिए इस्तेमाल किया गया एक शब्द बदल दिया है। कोर्ट में नेटफ्लिक्स के वकील ने बताया, 'हम हम दूसरे शब्द का प्रयोग कर रहे हैं।' कोर्ट ने नेटफ्लिक्स से पूछा कि क्या उन्होंने शब्द का सही ट्रांसलेशन किया है और कहा कि वो सीरिज में ऐसे पार्ट का ध्यान रखें।
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'अभिव्यक्ति की आजादी को कम नहीं करना चाहता कोर्ट'
हालांकि कोर्ट ने ये भी कहा वो अभिव्यक्ति की आजादी को कम नहीं करना चाहती। कोर्ट ने कहा, 'आलोचना या असंतोष की अभिव्यक्ति भी स्वीकार्य है। मुझे नहीं लगता कि किसी को भी आपत्ति हो सकती है।' कोर्ट ने ये भी कहा कि ये व्यूअर की च्वाइस है कि वो क्या देखना चाहता है। नेटफ्लिक्स ने कोर्ट में ये दलील भी दी कि राजीव गांधी के बेटे कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने इसपर कोई आपत्ति नहीं जताई और अभिव्यक्ति की आजादी का समर्थन किया।
अगली सुनवाई 6 अगस्त को
हाईकोर्ट ने याचिकाकर्ता से कहा कि वो बताएं कि कोर्ट कैसे इस मामले में दखल दे। दिल्ली हाईकोर्ट में ये याचिका निखिल भल्ला ने डाली थी। उन्होंने सेक्रेड गेम्स से दो बातों को हटाने की मांग की थी, भल्ला का कहना था कि ये बातें पूर्व प्रधानंत्री राजीव गांधी की छवी को खराब करती है। पेशे से वकील निखिल भल्ला ने आरोप लगाया था कि बोफोर्स स्कैंडल, शाह बानो केस, बाबरी मस्जिद और सांप्रदायिक दंगों को गलत तरीके से दिखाया गया है। इस मामले की अगली सुनवाई अब 6 अगस्त को होगी।
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