CAA पर सत्या नडेला के बयान से हुआ विवाद, अब माइक्रोसॉफ्ट ने सफाई में कही ये बड़ी बात
नई दिल्ली। नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) पर दिए भारतीय मूल के माइक्रोसॉफ्ट के सीईओ सत्या नडेला के बयान के बाद अब माइक्रोसॉफ्ट भारत ने इस पर सफाई दी है। कंपनी ने अपने बयान में कहा कि हर देश को अपने राष्ट्रीय सुरक्षा, बॉर्डर और प्रवासी पॉलिसी को तय करने का अधिकार है। बता दें कि एक इंटरव्यू में सीएए पर पूछे गए सवाल के जवाब में सत्या नडेला ने कहा कि भारत में जो भी हो रहा है वह दुखद है। सत्या के इस बयान पर सोशल मीडिया पर उनको तारीफ और आलोचना दोनों का सामना करना पड़ा है।
रामचंद्र गुहा ने किया समर्थन
मैनहट्टन में कंपनी के एक कार्यक्रम के दौरान सत्या नडेला ने कहा कि भारत में नागरिकता कानून को लेकर जो हो रहा है वो बुरा है और बेहद दुखद है। नडेला के बयान पर प्रतिक्रियाएं आने लगी है। इतिहासकार रामचंद्र गुहा ने उनके बयान का स्वागत किया और कहा कि सत्य नडेला ने वो कहा जो वो महसूस करते थे। आपको बता दें कि रामचंद्र गुहा पहले से ही नागरिकता संशोधन कानून का विरोध कर रहे हैं और इस बिल को लेकर केंद्र सरकार पर हमलावर रहे हैं।
Statement from Satya Nadella, CEO, Microsoft pic.twitter.com/lzsqAUHu3I
— Microsoft India (@MicrosoftIndia) January 13, 2020
माइक्रोसॉफ्ट इंडिया ने दी सफाई
सत्या नडेला का बयान के बाद सोशल मीडिया पर अलग-अलग प्रतिक्रिया आने के बाद माइक्रोसॉफ्ट इंडिया ने सफाई देते हुए सत्या नडेला का बयान ट्वीट किया है। इसमे लिखा है कि हर देश को अपने राष्ट्रीय सुरक्षा, बॉर्डर और प्रवासी पॉलिसी को तय करने का अधिकार है। लोकतांत्रिक देशों में सरकारें और जनता ऐसे मुद्दों पर बात कर के ही फैसला लेती हैं। मैं भारतीय मूल्यों के आधार पर बड़ा हुआ हूं। ट्वीट में आगे कहा गया कि भारत एक विविध संस्कृति वाला देश है और अमेरिका में मेरा प्रवासी अनुभव कुछ ऐसा ही रहा है। भारत के लिए मेरी आकांक्षा है कि वहां कोई भी बाहरी अच्छा स्टार्ट अप और बड़ी कंपनी की अगुआई करने का सपना देख सके।
सत्या नडेला और सुंदर पिचाई से की गई अपील
गौरतलब है कि सीएए को लेकर भारत के विभिन्न हिस्सों में विरोध प्रदर्शन जारी है और विपक्ष इसकी कड़ी आलोचना कर रहा है। हाल ही में गूगल, फेसबुल, उबर और अमेजॉन जैसी कई पंकनियों में काम करने वाले 150 से अधिक भारतीय मूल के कर्मचारियों ने पहली बार सीएए और एनआरसी को लेकर अपना विरोध जताया। उन्होंने इसके खिलाफ एक ओपन लेटर लिखा जिसमें माइक्रोसॉफ्ट के सीईओ सत्या नडेला और अल्फाबेट इंक के सीईओ सुंदर पिचाई समेत कई दिग्गजों से सीएए और एनआरसी की सार्वजनिक रूप से निंदा करने की अपील की गई थी।
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