महबूबा मुफ्ती ने पीडीपी सांसदों से कहा- राज्यसभा से इस्तीफा दें नहीं तो पार्टी से निकाल दिया जाएगा
नई दिल्ली। राज्यसभा के बाद लोकसभा में भी जम्मू कश्मीर को विशेषाधिकार देने वाले आर्टिकल 370 को हटाने का प्रस्ताव पास हो गया। जम्मू-कश्मीर की पूर्व सीएम और पीडीपी प्रमुख महबूबा आर्टिकल 370 हटाने का जमकर विरोध कर रही हैं। फिलहाल, उनको और नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता उमर अब्दुल्ला को सोमवार रात से ही नजरबंद किया गया है। इस बीच खबर आ रही है कि महबूबा मुफ्ती ने पार्टी के राज्यसभा सांसदों से इस्तीफा देने को कहा है।
पीडीपी सांसदों को इस्तीफा देने को कहा
हिंदुस्तान टाइम्स की खबर के मुताबिक, महबूबा मुफ्ती के एक सहयोगी ने बताया कि जब वह घर से गेस्ट हाउस शिफ्ट हो रही थीं, तब उन्होंने संदेश दिया कि राज्यसभा के सांसद या तो इस्तीफा दें या फिर निष्कासन का सामना करें। बता दें कि पीडीपी के दोनों सांसदों एमएम फैयाज और नाजिर अहमद ने राज्यसभा में जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल का विरोध किया था। इसके बाद पीडीपी सांसदों ने विरोध करते हुए राज्यसभा में ही संविधान की प्रति फाड़ दी कि जिसके बाद सभापति वेंकैया नायडू ने दोनों को बाहर भेज दिया था।
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दोनों सांसदों ने फाड़ी थी संविधान की प्रति
एमएम फैयाज ने अपना कुर्ता भी फाड़ लिया था। दोनों सासंदों ने बांह पर काला बैंड बांध रखा था और वे इस बिल का विरोध कर रहे थे। फैयाज ने कहा था कि वे इस्तीफा देना चाहते हैं लेकिन इसके पहले वे पार्टी नेतृत्व से संपर्क करना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि किसी से बात नहीं हो पा रही है क्योंकि जम्मू-कश्मीर की सभी फोन लाइनें बंद कर दी गई हैं, इसपर चर्चा करने के बाद इस्तीफे पर फैसला लेंगे।
जम्मू-कश्मीर को मिलने वाला विशेषाधिकार खत्म
जम्मू कश्मीर को विशेषाधिकार देने वाले आर्टिकल 370 को हटाने का प्रस्ताव राज्यसभा और लोकसभा में पास हो गया था। इस बिल को सदन में गृह मंत्री अमित शाह लेकर आए थे जिसपर जमकर हंगामा हुआ था। कांग्रेस सहित कई विपक्षी दलों ने इसे असंवैधानिक करार दिया था, जबकि अमित शाह ने कहा था कि जम्मू-कश्मीर और लद्दाख के लोगों के बेहतर भविष्य के लिए सरकार ने ये फैसला लिया है। इस बिल के पास होने के बाद जम्मू कश्मीर से अलग होकर लद्दाख केंद्रशासित प्रदेश बन गया है जबकि जम्मू कश्मीर भी विधानसभा के साथ अलग केंद्रशासित प्रदेश होगा।