महबूबा मुफ्ती सरकार का कर्मचारियों को तोहफा, सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को दी मंजूरी
जम्मू। जम्मू-कश्मीर की महबूबा मुफ्ती सरकार ने अहम फैसला लेते हुए प्रदेश में सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू करने को मंजूरी दे दी है। सीएम महबूबा मुफ्ती के नेतृत्व में कैबिनेट की बैठक हुई, जिसमें इस फैसले पर मुहर लगी। इस फैसले का फायदा प्रदेश के करीब पांच लाख कर्मचारियों और पेंशनधारकों को मिलेगा। जानकारी के मुताबिक सातवें वेतन आयोग की ये सिफारिशें जनवरी 2016 से प्रभावी होंगी।
सातवां वेतन आयोग लागू करने वाला जम्मू-कश्मीर पहला राज्य
जम्मू-कश्मीर के वित्त मंत्री सईद अल्ताफ बुखारी ने फैसले के बाद बताया कि मंगलवार को सीएम महबूबा मुफ्ती की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में सातवें वेतन आयोग की सिफारिशें लागू करने के फैसले को मंजूरी दी गई। मुख्यमंत्री ने कर्मचारियों के साथ किए गए वादे को निभाते हुए अप्रैल से सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू करने का फैसला किया है। इस फैसले के बाद कर्मचारियों के वेतन में करीब बीस फीसदी की बढ़ोतरी होगी।
सिफारिशें जनवरी 2016 से प्रभावी होंगी
वित्त मंत्री अल्ताफ बुखारी ने बताया कि इस फैसले से करीब पांच लाख कर्मचारियों को फायदा मिलेगा। बताया जा रहा है कि सातवें वेतन आयोग की सिफारिशें लागू करने के फैसले की वजह से सरकार पर 4201 करोड़ रुपये सालाना का बोझ आएगा। इसके अलावा एक साथ बकाया राशि के भुगतान के लिए भी 7477 करोड़ रुपए भी सरकार को देने होंगे। बता दें कि प्रदेश के कर्मचारियों को अप्रैल 2018 का वेतन सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुरूप ही मिलेगा।
कर्मचारियों को अप्रैल 2018 का वेतन इस फैसले पर आधारित होगा
वित्त मंत्री बुखारी ने बताया कि कैबिनेट की बैठक में प्रशासनिक सुधार को लेकर भी कई अहम फैसले लिए गए हैं। इसके मुताबिक कर्मचारियों को अब हर हफ्ते कम से कम 40 घंटे काम करना होगा। इसके अलावा, 100 प्रतिशत आधार पर आधारित बायोमीट्रिक सिस्टम के जरिए उपस्थिति पर वेतन का भुगतान किया जाएगा।
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