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मेघालय हाईकोर्ट ने 'हिंदू राष्ट्र' के फैसले को किया खारिज, कहा- संविधान के खिलाफ था ये

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नई दिल्ली। मेघालय हाईकोर्ट ने दो जजों की बेंच ने सिंगल बेंच के उस फैसले को खारिज कर दिया जिसमें कहा गया था कि भारत को हिंदू राष्ट्र घोषित कर दिया जाना चाहिए था। 10 दिसंबर को जस्टिस सेन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री राजनाथ सिंह, कानुन मंत्री और सांसदों से गुजारिश की थी कि वह ऐसा कानून पास करें जिससे हिंदू, सिख, ईसाई, बौद्ध, पारसी, खसिस, जैन्तियास, गारो को पाकिस्तान, बांग्लादेश, अफगानिस्तान से भारत आने में किसी भी तरह की कोई दिकक्त ना हो।

meghalaya high court set aside hindu rashtra judgement given by single bench

इस फैसले पर मचा था घमासान

उन्होंने कहा था कि कानून ऐसा होना चाहिए जिसमें इन तमाम लोगों को भारत की नागरिकता देने के लिए किसी भी तरह के दस्तावेज की मांग नहीं की जाए। जस्टिस सेन ने ये भी कहा था कि भारत को हिंदू राष्ट्र घोषित कर देना चाहिए था। सिंगल बेंच के इस फैसले पर दो जजों की खंडपीठ ने कहा, 'सभी पहलुओं ​​पर विचार करने के बाद हम इस निष्कर्ष पर पहुंचे हैं कि 10 दिसंबर 2018 को दिया गया फैसला कानूनी रूप से त्रुटिपूर्ण है और संवैधानिक सिद्धांतों के अनुरूप नहीं है। इस फैसले में दिए गए निर्देश और दिशा-निर्देश पूरी तरह से त्रुटिपूर्ण है। इसलिए, इसे पूरी तरह से खारिज किया जाता है।'

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बता दें कि जस्टिस सेन ने कहा था कि हिंदू और सिख जिनकी उत्पत्ति मूलरूप से भारत में हुई, उन्हें एक बार फिर से वापस भारत आने की आजादी मिलनी चाहिए, साथ ही उन्हें देश की नागरिकता स्वत: मिल जानी चाहिए। जस्टिस ने अपने फैसले में कहा था कि पाकिस्तान ने खुद को इस्लामिक राष्ट्र घोषित कर दिया था। चूंकि भारत धर्म के आधार पर अलग हुआ था, लिहाजा उसे खुद को हिंदू राष्ट्र घोषित कर लेना चाहिए था, लेकिन आज भी भारत सेक्युलर राष्ट्र है।

दरअसल, मेघालय के स्थानीय नागरिक को जब राज्य सरकार की ओर से निवास प्रमाण पत्र देने से इनकार कर दिया गया तो इसके खिलाफ कोर्ट में याचिका दायर की गई थी, जिसपर सुनावाई करते हुए जस्टिस सेन ने यब बात कही। जज ने कहा था कि मैं यह साफ कर देना चाहता हूं कि किसी को भी भारत को इस्लामिक देश बनाने की कोशिश नहीं करनी चाहिए, अन्यथा भारत और दुनिया के लिए अभिषाप होगा।

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English summary
meghalaya high court set aside hindu rashtra judgement given by single bench
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