मिलिए सुल्तानपुर की प्रतिभा वर्मा से जिसने UPSC परीक्षा में तीसरी रैंक हासिल की और लड़कियों में किया टॉप
मिलिए सुल्तानपुर की प्रतिभा वर्मा से जिसने UPSC परीक्षा में तीसरी रैंक हासिल की और लड़कियों में किया टॉप
नई दिल्ली। हार और जीत हमारी सोच पर निर्भर करती है मान लिया तो हार और ठान लिया तो जीत। ऐसी ही सोच लोक सेवा आयोग (UPSC)2019 में लड़कियों मे टॉप करने वाली प्रतिभा वर्मा की है। पहली बार जब प्रतिभा ने यूपीएससी की परीक्षा दी तब वो प्री एक्जाम भी नहीं पास कर पाई थी और आज चंद वर्षों की कड़ी मेहनत और अपने जुनून से यूपी के सुल्तापुर की प्रतिभा वर्मा आज महिला उम्मीदवारों में यूपीएससी सिविल सेवा टॉपर 2019 हैं और ऑलओवर इंडिया में तीसरी रैंक हासिल की है।
लड़कियों में टॉप करने वाली प्रतिभा बोली रिजल्ट चेक किया तो मुझे विश्वास ही नहीं हुआ
बता दें सिविल सेवा परीक्षा-2019 का फाइनल परीक्षा में हरियाणा के सोनीपत जिले के रहने वाले प्रदीप सिंह ने टॉप किया है वहीं दूसरे स्थान पर जतिन किशोर और तीसरे स्थान पर प्रतिभा वर्मा हैं। इस परीक्षा में देश भर की लड़कियों को पछाड़ने वाली यूपी के सुल्तानपुर की प्रतिभा वर्मा ने कहा कि मैंने जब यूपीएससी का रिजल्ट चेक किया तो मुझे विश्वास ही नहीं हुआ। प्रतिभा के आईएसएस बनने पर उनकी मां के साथ शहर के लोग खुश हैं।
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प्रतिभा के माता-पिता दोनों हेडमास्टर
शहर के बघराजपुर मोहल्ला निवासी सेवानिवृत्त शिक्षक सुबंश वर्मा व उच्च प्राथमिक विद्यालय की हेडमास्टर ऊषा वर्मा की बेटी प्रतिभा वर्मा शुरू से ही पढ़ने में होशियार थी। वर्ष 2008 में रामराजी बालिका इंटर कॉलेज से यूपी बोर्ड से हाईस्कूल करने वाली प्रतिभा ने 2010 में केएनआईसीई से इंटरमीडिएट पास किया । दोनों ही कक्षाओं में प्रतिभा ने बेहतरीन प्रदर्शन किया था। हाईस्कूल में प्रतिभा को जिले में तीसरा स्थान व इंटरमीडिएट में पहला स्थान मिला था। वर्ष 2014 में आईआईटी दिल्ली से बीटेक करने के बाद प्रतिभा वर्मा ने करीब दो वर्षों तक पुणे में वोडाफोन कंपनी में बतौर डिप्टी मैनेजर काम किया था।
नौकरी छोड़कर आईएएस की तैयारी की
इसके बाद 2019 में उनका चयन आईआरएस के पद पर हो गया। भारतीय राजस्व सेवा (आयकर) में कार्यरत प्रतिभा ने कहा कि वह बचपन से ही आईएएस अधिकारी बनना चाहती थी। प्रतिभा ने बताया कि इंजीनियरिंग की पढ़ाई के बाद उन्होंने वोडा फोन में जॉब ज्वाइन की लेकिन 2016 में नौकरी छोड़कर मैं दिल्ली सिविल सर्विसेस की तैयारी के लिए आ गई। उन्होंने बताया कि दिल्ली में पहले से ही उनके दोस्त जो तैयारी कर रहे थे उनसे सलाह लेकर तैयारी करना शुरु की। प्रतिभा बताती है कि जब उन्होंने पहली बार प्री परीक्षा दी तो वो नहीं पास कर पाई लेकिन उससे उन्होंने मन छोटा नहीं किया। उस परीक्षा में मुझे जो अपनी कमजोरियां लगी उन विषयों पर मैंने ध्यान दिया और उसको विषयों को लेकर तैयारी शुरु कर दी। 2018 में जब वह यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा दी, तो उसमे परीक्षा में 489 रैंक मिली और फिर से अपने रैंक सुधारने के लिए 2019 में परीक्षा दी तो इसमें साल उसने तीसरा स्थान हासिल किया है।
इसलिए आईएसएस बनना चाहती थी प्रतिभा वर्मा
प्रतिभा कहती है कि जब भी कोई संकट आता है तो ऐसे में आईएसएस अधिकारी फ्रंट में काम करते है जो मुझे हमेशा प्रेरित करता था। आईएएस ही है जो कठिन परिस्थितियों के समय वे हमेशा अग्रिम पंक्ति में रहते हैं। यही कारण है कि मैंने परीक्षा के लिए फिर से तैयारी करने का फैसला किया और इस सफलता हासिल की। प्रतिभा बताती है कि उसकी तैयारी के समय में, उसके माता-पिता उसका सबसे बड़ा सहारा थे।
महिलाओं के सशक्तीकरण के लिए हर संभव प्रयास करूंगी
प्रशासनिक क्षेत्र में अपनी भविष्य की योजनाओं के बारे में बोलते हुए, वह बताती हैं कि वह महिला सशक्तीकरण और बच्चों से संबंधित मुद्दों के लिए काम करना चाहती हैं, खासकर अपने गृह राज्य उत्तर प्रदेश के लिए। आईएएस में चयनित होने के बाद महिला सशक्तीकरण व शिक्षा के क्षेत्र में काम करने की इच्छा है। नई शिक्षा नीति में बहुत सारी तब्दीलियां हुई हैं। इस क्षेत्र में काम करने की बहुत जरूरत है। महिला सशक्तीकरण के क्षेत्र में भी काम करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि महिलाओं के सशक्तीकरण के लिए हर संभव प्रयास करूंगी।