'साइलेंट PM' पर मनमोहन सिंह बोले, मैं ऐसा प्रधानमंत्री नहीं था जो मीडिया से बात करने से डरता हो
नई दिल्ली। देश के पूर्व प्रधानमंत्री डॉक्टर मनमोहन सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर जबरदस्त हमला बोला है। मनमोहन सिंह ने अपनी किताब 'चेंजिंग इंडिया' के विमोचन के मौके पर पीएम कार्यकाल से जुड़े कई मुद्दों पर खुलकर अपनी राय रखी। उन्होंने अपनी मौन छवि का सहारा लेते हुए पीएम मोदी पर मीडिया से बात ना करने के आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि लोग ने उन्हें साइलेंट प्राइम मिनिस्टर कहा था, मेरे ख्याल से मेरी किताब इसका जवाब देगी।
लोग कहते हैं मैं मौन प्रधानमंत्री था
मनमोहन सिंह ने कहा, 'लोग कहते हैं मैं मौन प्रधानमंत्री था। मैं समझता हूं कि मेरी किताब 'चेंजिंग इंडिया' इस बारे में खुद ही बोलेगी। मैं ऐसा प्रधानमंत्री नहीं था जो प्रेस से बात करने में घबराता हो। मैं लगातार प्रेस से मिलता रहता था और हर विदेश यात्रा के बाद प्रेस कांफ्रेंस करता था।' मनमोहन सिंह ने केंद्र सरकार और आरबीआई के बीच चल अनबन को लेकर हमला किया।
सरकार और आरबीआई के कलह पर बोले मनमोहन सिंह
उन्होंने कहा कि, 'मजबूत, स्वतंत्र भारतीय रिज़र्व बैंक को केंद्र सरकार के साथ घनिष्ठता और सहयोग से काम करना होता है। इसलिए मैं उम्मीद करता हूं और प्रार्थना करता हूं कि रिजर्व बैंक और भारत सरकार को एक-दूसरे के साथ मिलकर शांति व सामंजस्य के साथ कार्य करने का तरीका ढूंढ लेंगे। उन्होंने मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान में किसानों की कर्ज माफी का समर्थन किया। इसके बारे में उन्होंने कहा कि- 'हमें अपनी बात को पूरा करना था। चुनाव वाले राज्यों में कर्ज माफी हमारी चुनावी घोषणा पत्र का हिस्सा था। इसलिए मुख्यमंत्रियों ने इसकी घोषणा की।
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एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर ही नहीं बल्कि वह एक्सीडेंटल फाइनेंस मिनिस्टर भी
मनमोहन सिंह ने कहा कि, वह केवल एक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर ही नहीं बल्कि वह एक्सीडेंटल फाइनेंस मिनिस्टर भी हैं। इसके पीछे का किस्सा सुनाते हुए मनमोहन सिंह ने कहा कि, मैं उस समय यूजीसी का चेयरमैन था। मैं रोज की तरह इस दिन भी ऑफिस पहुंचा। नरसिम्हा राव जी मुझे ढूढं रहे थे। उन्हें पता चला कि मैं यूजीसी में हूं तो उन्होंने मुझे फोन करके पूछा तुम कहां हो ? मैंने कहा कि, मैं यूजीसी में हूं, मैं आपके लिए क्या कर सकता हूं। तब नरसिम्हा राव जी ने कहा कि तैयार हो कर आ जाओ, आपको शपथ लेनी है। इस तरह से मैं एक्सीडेंटली फाइनेंस मिनिस्टर बन गया।
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