महाराष्ट्र: उद्धव ठाकरे बोले कोरोना से मुक्ति के लिए गोवा मॉडल अपनाए हमारी सरकार
नई दिल्ली- महाराष्ट्र सरकार कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों से तंग आ चुकी है। अब राज्य के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने अपने जिलाधिकारियों से कह दिया है कि वह कोरोना को भगाने के लिए गोवा मॉडल अपनाएं, जिसके चलते गोवा कोरोना-मुक्त घोषित हो चुका है। बता दें कि महाराष्ट्र में कोरोना के मामले 25 हजार के पास पहुंच चुके हैं और अकेले एक राज्य में मौत का आंकड़ा नौ सौ के पार जा चुका है। जबकि, गोवा में आज तक सिर्फ 7 ही मामले सामने आए थे और वे सारे के सारे स्वस्थ होकर अपने घर जा चुके हैं और वहां अभी एक भी कोरोना का केस नहीं है।
कोरोना-मुक्त गोवा मॉडल अपनाने को तैयार
महाराष्ट्र में उद्धव सरकार की लाख कोशिशों के बावजूद कोरोना वायरस का कहर थमने का नाम नहीं ले रहा है। कोरोना को कंट्रोल करने का कोई उपाय न सूझता देख राज्य के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे कुछ जिला प्रशासनों से कहा है कि वह अपने जिलों में कोरोना-मुक्त गोवा मॉडल को अपना कर देख सकते हैं। मुख्यमंत्री ठाकरे ने मंगलवार को प्रदेश के जिलों के अधिकारियों के साथ हुई वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान ये बात कही है। बता दें कि आज की तारीख में गोवा में कोरोना वायरस का एक भी केस नहीं है। वहां जो भी 7 मरीज नोवल कोरोना वायरस से इंफेक्टेड पाए गए थे वे सारे के सारे इलाज के बाद स्वस्थ होकर अपने घर लौट चुके हैं। यही वजह कि गोवा सरकार ने राज्य को कोरोना-मुक्त घोषित कर रखा है और उसने स्पेशल ट्रेनों से आने वाले यात्रियों के लिए भी यह स्पष्ट प्रोटकॉल जारी कर दिया है कि जब तक पैसेंजर कोविड-19 टेस्ट में निगेटिव नहीं निकल जाएंगे, उन्हें सरकारी फैसिलिटी में ही क्वारंटीन रहना पड़ेगा।
घर-घर जाकर लक्षणों की जांच करने को कहा
गोवा मॉडल की कामयाबी को देखते हुए उद्धव ठाकरे ने महाराष्ट्र के कुछ जिलों से कहा है कि वो भी गोवा मॉडल के अनुसार काम करें और इसके लिए घर-घर जाकर कोरोना वायरस के लक्षण वाले लोगों की जांच करें। एक अधिकारी ने बात में बताया कि 'मुख्यमंत्री ने सलाह दी है कि कुछ जिलों को गोवा का पैटर्न इस्तेमाल करना चाहिए और घर-घर जाकर कोविड-19 के लक्षण वालाों का ही नहीं, बल्कि मानसून से जुड़ी बीमारियों की आशंकाओं के बारे में भी पड़ताल करना चाहिए।' उस अधिकारी के मुताबिक मुख्यमंत्री के कहने का मकसद ये था कि गोवा का आकार महाराष्ट्र के कुछ जिलों की ही तरह है। मुख्यमंत्री की बात से यह भी साफ हो गया है कि प्रदेश में एक से दूसरे जिलों में आवाजाही तत्काल शुरू होने के आसार नहीं हैं। उन्होंने बीमारी को फैलने से रोकने के लिए अधिकारियों को कंटेंमेंट जोन पर फोकस करने को तो कहा ही है, साथ ही शुक्रवार तक लॉकडाउन-4 को लेकर केंद्र से मांगे गए सुझाव भी देने को कहा है।
महाराष्ट्र में अभी सख्ती जारी रहने के संकेत
बता दें कि बुधवार सुबह तक महाराष्ट्र में कोरोना वायरस के कुल मामले 24,427 तक पहुंच गए और पिछले एक दिन में इसमें 1,026 पॉजिटिव केस का इजाफा हुआ है। इसके साथ ही 53 और मौतों के साथ यह आंकड़ा भी बढ़कर 921 तक जा चुका है। अलबत्ता राज्य में 5,125 लोग कोरोना से मुक्त भी हुए हैं और एक दिन में ही 339 लोग स्वस्थ होकर अपने घर लौटे हैं। सीएम ने मीटिंग में ये भी कहा कि अगर लॉकडाउन में ढील भी दी जाती है तब भी जिलों की सीमाओं को नहीं खोला जाएगा।
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