महाराष्ट्र में गरमाई सियासत: शिवसेना ने अपने विधायकों के लिए मांगा पुलिस प्रोटेक्शन
मुंबई। बीजेपी-शिवसेना में मतभेद के बीच महाराष्ट्र में सरकार बनने पर संकट गहराता जा रहा है। शिवसेना जहां अपने ढाई-ढाई साल के फार्मूले पर अड़ी है तो वहीं, बीजेपी पूरे पांच साल के लिए प्रदेश में अपना ही सीएम चाहती है। सीएम पद को लेकर चल रहे विवाद में अब बीजेपी-शिवसेना गठबंधंन के बीच दरार भी दिखाई देने लगी है। शिवसेना को डर है कि भाजपा उनके नव-निर्वाचित विधायकों का समर्थन पाने के लिए किसी भी हद तक जा सकती है। इसी सिलसिले में शिवसेना के सचिव मिलिंद नारवेकर ने पुलिस के एक अधिकारी को पत्र लिखकर विधायकों के लिए सुरक्षा की मांग की है।
विधायकों से मिलते रहेंगे उद्धव ठाकरे
मिलिंद नारवेकर ने बताया कि, शिवसेना अपने विधायकों को 15 नवंबर तक एक सेफ हाउस में रखेगी, इन सभी विधायकों के लिए सुरक्षा मुहैया कराए जाने की मांग की गई है। पुलिस को लिखे पत्र में मिलिंद ने बताया कि 15 नवंबर तक विधायक उपनगरीय मलाड में रिट्रीय होटल में ठहराया जाएगा। उन्होंने आगे बताया कि, भविष्य के फैसलों पर चर्चा के लिए शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे समय-समय पर विधायकों से मिलते रहेंगे। बता दें कि, महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के नतीजे 24 अक्टूबर को आ गया था, इस चुनाव में बीजेपी-शिवसेना गठबंधन को बहुमत हासिल हुआ है।
पुलिस अधिकारी ने की पुष्टी
नव-निर्वाचित विधायकों के लिए सुरक्षा मुहैया कराए जाने की पुष्टी एक पुलिस अधिकारी ने भी की है। उन्होंने बताया कि, शिवसेना की ओर से हमें एक पत्र मिला है जिसमें उनके विधायकों के लिए सुरक्षा की मांग की गई है। मुंबई पुलिस शिवसेना के विधायकों की सरक्षा की देख-रेख करेगी। बता दें, विधानसभा चुनाव में शिवसेना ने 56 विधानसभा सीटों पर जीत हासिल की थी। इनमें से एक मुंबई के वर्ली से जीत दर्ज करने वाले ठाकरे परिवार के सदस्य आदित्य ठाकरे भी हैं।
शिवसेना ने किया दावा
मालूम हो कि, भारतीय जनता पार्टी ने चुनाव में 105 सीटें अपने नाम की हैं। राज्य में गठबंधंन कर सरकार बनाने के लिए दोनों पार्टियों के पास पर्याप्त सीटें हैं। शिवसेना का दावा है कि बीजेपी ने अपना वादा तोड़ा है। विधानसभा चुनाव से पहले ही इस बात पर सहमती बन गई थी कि बहुमत मिलने के बाद दोनों पार्टी के सीएम ढाई-ढाई साल के लिए मुख्यमंत्री पद पर रहेंगे। बता दें कि, महाराष्ट्र में 288 सीटों पर विधानसभा चुनाव हुए थे। 21 अक्टूबर को मतदान किया गया और 24 को चुनाव के नतीजे सामने आए।