महाराष्ट्र: डिप्टी सीएम और गृह दोनों का जिम्मा संभाल सकतें हैं जयंत, अजित पवार के लिए इस बड़े विभाग की चर्चा
नई दिल्ली- महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे सरकार में विभागों के बंटवारे को लेकर जारी असमंजस जल्द ही साफ होने की संभावना है। अभी तक की खबरों के मुताबिक डिप्टी सीएम बनने के अजित पवार के सपने पर पानी फिर सकता है। क्योंकि, एनसीपी नेता जयंत पाटिल के डिप्टी सीएम बनाए जाने की चर्चा है। अभी तक की खबर के मुताबिक विभागों का बंटवारा 10-7-6 के फॉर्मूले के आधार पर हुआ है और कांग्रेस के दोनों पूर्व मुख्यमंत्री भी उद्धव ठाकरे कैबिनेट में मंत्री बनाए जा सकते हैं। हालांकि, अभी के लिए चर्चा ये है कि आदित्य ठाकरे को फिलहाल मंत्रिमंडल में नहीं शामिल किया जा रहा है। लेकिन, सबसे ज्यादा उथल-पुथल एनसीपी में नजर आ रही है, अलबत्ता उसने ज्यादातर महत्वपूर्ण विभागों पर कब्जा करने की तैयारी कर ली है।
जयंत पाटिल को मिल सकती है सबसे बड़ी जिम्मेदारी
महाराष्ट्र से जो खबरें आ रही हैं, उसके मुताबिक चार दिन की देवेंद्र फडणवीस सरकार में उपमुख्यमंत्री बने एनसीपी नेता अजित पवार को झटका लग सकता है। माना जा रहा है कि इसकी वजह से डिप्टी सीएम बनने की उनकी उम्मीदों पर पानी फिर सकता है। इसके चलते एनसीपी के मौजूदा विधायक दल के नेता और मंत्री जयंत पाटिल की लॉटरी लगती दिख रही है। शिवसेना-एनसीपी और कांग्रेस के बीच विभागों को लेकर जो चर्चा चल रही है, उसके मुताबिक जयंत पाटिल को डिप्टी सीएम बनाए जाने के अलावा भारी-भरकम गृह विभाग का भी जिम्मा दिया जा सकता है। खबरों के मुताबिक अभी तक शिवसेना इस पोर्टफोलियो के लिए अड़ी हुई थी। वहीं एनसपी सुप्रीमो शरद पवार के भतीजे अजित पवार को भारी-भरकम वित्त विभाग से संतोष करना पड़ सकता है।
10-7-6 का निकला फॉर्मूला!
जानकारी के मुताबिक तीनों दलों में जो फिलहाल के लिए सहमति बनती दिख रही है उसमें 56 विधायकों वाली शिवसेना के कोटे से सबसे ज्यादा 10 मंत्री बनाए जा सकते हैं। जबकि, 54 विधायकों वाली एनसीपी को उपमुख्यमंत्री के अलावा 7 मंत्री पद मिल सकता है। वहीं 44 विधायकों वाली कांग्रेस के लिए सिर्फ 6 मंत्री पद का रास्ता निकलता दिख रहा है। हालांकि, कांग्रेस को स्पीकर का पद पहले ही मिल चुका है। माना जा रहा है कि उद्धव मंत्रिमंडल का विस्तार और विभागों का औपचारिक बंटवारा सोमवार से शुरू हो रहे विधानसभा के 5 दिवसीय शीतकालीन सत्र की समाप्ति के बाद कभी भी हो सकता है।
दो पूर्व सीएम, मंत्री बनने के लिए राजी!
जो खबरें मिल रही हैं उसके मुताबिक कांग्रेस के दो पूर्व मुख्यमंत्रियों अशोक चव्हाण और पृथ्वीराज चव्हाण क्रमश: पीडब्ल्यूडी और ऊर्जा विभाग का जिम्मा संभालने के लिए राजी हैं। वैसे कहा जा रहा है कि दोनों पूर्व मुख्यमंत्रियों के मंत्री बनने की बात मंत्री पद पर नजरें टिकाए कुछ कांग्रेसी विधायकों को हजम नहीं हो रही है और वो आलाकमान से मिलकर उन्हें रोकने की कोशिशों में भी जुट गए हैं। इस बंटवारे में कांग्रेस के एक और दिग्गज पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष बालासाहब थोराट को राजस्व विभाग मिलने की संभावना है।
शिवसेना-एनसीपी के खाते में ये विभाग जा सकते हैं
तीनों पार्टियों में हुई बातचीत के बाद कहा जा रहा है कि शिवसेना के खाते में शहरी, भूमि, उद्योग, कृषि, जल संसाधन, उच्च शिक्षा, ट्रांसपोर्ट, कानून, भाषा और संस्कृति विभाग जाएगा। महाराष्ट्र स्टेट रोड डेवलपमेंट कॉर्पोरेशन पर भी उसी का कब्जा हो सकता है। जबकि, एनसीपी को जो अन्य विभाग मिल सकते हैं वे हैं- आवास, को-ऑपरेटिव्स, मेडिकल एजुकेशन, ग्रामीण विकास और श्रम। इसके अलावा गृह और वित्त जैसे बड़े विभाग भी उसके ही खाते में जा रहे हैं।
कांग्रेस को ये विभाग मिलने की संभावना
कांग्रेस के खाते में राजस्व और पीडब्ल्यूडी के अलावा ऊर्जा, एक्साइज, प्राइमरी एजुकेशन और महिला कल्याण जा सकते हैं। कुछ विभागों को फिलहाल सुरक्षित रखे जाने की भी संभावना है, ताकि वह जरूरत पड़ने पर बाद के विस्तार में काम आ सके। जानकारी ये भी है कि फिलहाल उद्धव ठाकरे अपने बेटे आदित्य ठाकरे को मंत्री नहीं बना रहे हैं और वह संगठन के काम को ही देखेंगे और पिता के साथ जुड़े रहकर सरकार के कामकाज को समझेंगे।