क्विक अलर्ट के लिए
नोटिफिकेशन ऑन करें  
For Daily Alerts
Oneindia App Download

महाराष्ट्र के संकट में अब NCP के इरादों पर कांग्रेस को शक! इन 2 वजहों से मची खलबली

11 नवंबर के बाद घटी इन दो घटनाओं ने एनसीपी के इरादों को लेकर कांग्रेस के खेमे में खलबली मचा दी है।

Google Oneindia News

नई दिल्ली। महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगाए जाने के बाद सरकार गठन को लेकर एक बार फिर सियासी हलचलें तेज हो गई हैं। बुधवार को कांग्रेस और एनसीपी ने शिवसेना के साथ मिलकर सरकार बनने की स्थिति को लेकर न्यूनतम साझा कार्यक्रम तय करने के लिए अपने-अपने नेताओं की कमेटी का गठन कर दिया। वहीं, अस्पताल से छुट्टी मिलने के बाद संजय रावत ने एक बार फिर कहा कि इस बार महाराष्ट्र का सीएम शिवसेना से ही होगा। हालांकि महाराष्ट्र में शिवसेना के नेतृत्व वाली सरकार को लेकर भले ही कांग्रेस ने सहमति के संकेत दे दिए हों, लेकिन पार्टी के नेता एनसीपी के इरादों को लेकर उलझन में हैं।

दो घटनाओं से कांग्रेस के खेमे में खलबली

दो घटनाओं से कांग्रेस के खेमे में खलबली

एचटी की खबर के मुताबिक, दरअसल 11 नवंबर के बाद घटी दो घटनाओं ने कांग्रेस के खेमे में खलबली मचा दी है। पहली घटना उस वक्त घटी, जब नई दिल्ली में कांग्रेस कार्य समिति की बैठक हुई और महाराष्ट्र में शिवसेना के नेतृत्व वाली सरकार को समर्थन देने के प्रस्ताव पर चर्चा हुई। कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता ने बताया कि इस बैठक के बाद उनकी पार्टी शिवसेना को अपनी राय देने ही वाली थी कि उसी दौरान एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने सोनिया गांधी के साथ फोन पर हुई बातचीत में सुझाव दिया कि अभी दोनों पक्षों को अपना फैसला रोकना चाहिए, क्योंकि वो खुद शिवसेना के साथ सरकार के गठन के विवरण पर चर्चा करना चाहते हैं।

'आखिर एनसीपी की ऐसी क्या जल्दी थी'

'आखिर एनसीपी की ऐसी क्या जल्दी थी'

इसके बाद दूसरी घटना मंगलवार को उस वक्त घटी, जब एनसीपी ने राजभवन को ईमेल भेजकर राज्यपाल से सरकार बनाने की क्षमता साबित करने के लिए अतिरिक्त समय की मांग की। एनसीपी के इस ईमेल के तुरंत बाद राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने केंद्र को एक रिपोर्ट भेजी, जिसमें राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाई की सिफारिश की गई थी। कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता ने बताया, 'राज्यपाल ने एनसीपी को सरकार बनाने की क्षमता साबित करने के लिए रात 8:30 बजे तक का समय दिया हुआ था, तो फिर एनसीपी ने दोपहर 12.30 बजे ही राज्यपाल से समय मांगने की जल्दबाजी क्यों दिखाई? यह सब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ब्राजील रवाना होने से ठीक पहले हुआ। हम इस बात को सोचकर हैरान हैं कि आखिर एनसीपी की ऐसी क्या जल्दी थी।'

कांग्रेस का शिवसेना से सीधे संपर्क साधने का फैसला

कांग्रेस का शिवसेना से सीधे संपर्क साधने का फैसला

इन दो घटनाओं को देखकर मुंबई और दिल्ली में कांग्रेस नेताओं के एक धड़े को शक है कि एनसीपी अभी पूरी तरह से सरकार बनाने के मूड में नहीं है या फिर एनसीपी के शीर्ष नेता शिवसेना और कांग्रेस से बातचीत के दौरान सौदेबाजी के लिए हवा बनाना चाहते हैं। एक अन्य कांग्रेस नेता ने बताया, 'शिवसेना के साथ सरकार बनाने को लेकर एनसीपी बंटी हुई नजर आ रही है। एनसीपी का शीर्ष नेतृत्व अभी भी इस सोच-विचार में है कि शक्तिशाली मोदी सरकार के सामने खड़ा हुआ जाए या नहीं। भाजपा नेतृत्व स्पष्ट रूप से इस बात से खुश नहीं है कि वो एक महत्वपूर्ण राज्य खो रहे हैं।' कांग्रेस के इस नेता ने बताया कि हमारी पार्टी के नेताओं ने अब शिवसेना नेतृत्व से सीधे संपर्क साधने का फैसला लिया है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि आखिरी वक्त में एनसीपी अपने पैर पीछे तो नहीं खींचेगी।

राष्ट्रपति शासन पर यशवंत सिन्हा का बड़ा बयान, शिवसेना-NCP-कांग्रेस को दी ये सलाहराष्ट्रपति शासन पर यशवंत सिन्हा का बड़ा बयान, शिवसेना-NCP-कांग्रेस को दी ये सलाह

कांग्रेस ने बदली रणनीति

कांग्रेस ने बदली रणनीति

इसी क्रम में मंगलवार देर रात कांग्रेस के दिग्गज नेता अहमद पटेल और शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे के बीच बांद्रा-कुर्ला कॉम्प्लेक्स के एक होटल में बातचीत हुई। बुधवार को उद्धव ठाकरे ने महाराष्ट्र के कांग्रेस नेताओं बालासाहेब थोराट और अशोक चव्हाण के साथ बातचीत की। कांग्रेस नेता ने बताया कि हम नहीं चाहते थे कि एनसीपी हमारी तरफ से शिवसेना के साथ बातचीत करे।

किसी तरह का कोई संदेह नहीं- NCP

किसी तरह का कोई संदेह नहीं- NCP

वहीं, एनसीपी के राष्ट्रीय सचिव हेमंत टकले ने कहा, 'किसी तरह के संदेह होने का कोई कारण ही नहीं है। संवैधानिक प्रक्रिया के तहत राज्यपाल द्वारा सभी दलों से संपर्क किया गया। राज्यपाल का पत्र मिलने के बाद हमारी पार्टी ने विकल्पों पर विचार करना शुरू किया। एनसीपी और कांग्रेस ने चूंकि साथ मिलकर चुनाव लड़ा था, इसलिए किसी भी अन्य पार्टी से बात करने से पहले हमारे बीच चर्चा होना जरूरी था। और जैसा कि प्रक्रिया चल रही थी, तो अधिक समय मांगने में क्या गलत था? इसमें किसी तरह का कोई संदेह नहीं है। अगर तीनों दल साथ आते हैं तो मजबूत गठबंधन बनेगा।'

महाराष्ट्र के संकट में किसका समर्थन करेंगे AIMIM के दो विधायक, ओवैसी ने किया खुलासामहाराष्ट्र के संकट में किसका समर्थन करेंगे AIMIM के दो विधायक, ओवैसी ने किया खुलासा

Comments
English summary
Maharashtra: Congress Is Not Able To Fully Trust NCP, These Are 2 Big Reasons.
देश-दुनिया की ताज़ा ख़बरों से अपडेट रहने के लिए Oneindia Hindi के फेसबुक पेज को लाइक करें
For Daily Alerts
तुरंत पाएं न्यूज अपडेट
Enable
x
Notification Settings X
Time Settings
Done
Clear Notification X
Do you want to clear all the notifications from your inbox?
Settings X
X