महिला शिक्षकों के सिर मुड़ाने के बाद जागी मध्य प्रदेश सरकार, शिवराज सिंह ने किया बड़ा ऐलान
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भोपाल। मध्य प्रदेश सरकार ने राज्य के शिक्षकों की मांग मान ली है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ऐलान किया है कि अध्यापकों का स्कूल शिक्षा विभाग में विलय होगा। मुख्यमंत्री के अनुसरा अब सिर्फ एक ही विभाग-स्कूल शिक्षा काम करेगा और सिर्फ शिक्षक होंगे। इस आदेश के बाद मध्य प्रदेश में गुरूजी, शिक्षा कर्मी, अध्यापक यह सब खत्म कर दिया गया है। मिली जानकारी के अनुसार इस फैसले से पौने तीन लाख शिक्षकों को फायदा होगा।
अब मिलेंगी सारी सुविधाएं
फैसले के मुताबिक गुरूजी की वरिष्ठता, मातृत्व अवकाश समेत अन्य सभी सुविधाएं जो एक सरकारी शिक्षक को मिलती हैं वो सभी मिलेंग। सीएम ने कहा कि कई सालों से अध्यापकों के साथ अन्याय हो रहा था। इस फैसले से हमने अन्याय खत्म कर दिया है। गौरतलब है कि इस फैसले के लिए शिक्षक आंदोलन कर रहे थे।
महिलाओं ने कराया था मुंडन
बता दें कि बीते दिनों महिला शिक्षकों ने अपने सिर मुड़ा लिए थे। शिक्षकों की मांग थी कि उन्हें समान काम के लिए समान सैलरी दी जाए। शिक्षकों की मांग थी उचित ट्रांसफर पॉलिसी भी हो। भोपाल में हुए विरोध प्रदर्शन से पहले यह यात्रा विदिशा पहुंची थी। शिक्षकों ने रैली निकाली थी। भोपाल में विरोध प्रदर्शन के दौरान बड़ी संख्या में शिक्षक इकट्ठा हुए थे। अधिकार यात्रा विदिशा से भोपाल पहुंची थी। यहां तकरीबन 100 टीचर्स ने अपने सिर मुड़वाए थे, जिसमें महिलाएं भी शामिल थीं।
सरकार को दी थी चेतावनी
अपने इस आंदोलन के पहले शिक्षकों ने शिवराज सरकार को चेतावनी दी थी। उन्होंने कहा था कि अगर उनकी मांगे नहीं मानी गई तो वो मुंडन करा लेंगे। बता दें कि आज फैसला शिवराज सिंह ने अपने आवास पर अन्य कैबिनेट मंत्रियों की उपस्थिति में किया।