बागी विधायकों में एक MLA वापस लौटा, डीके शिवकुमार बोले- नागराज रहेंगे हमारे साथ
बेंगलुरु। कर्नाटक की राजनीति में जारी उठापटक के बीच 'रिजॉर्ट पॉलिटिक्स' की वापसी हो गई है। खरीद-फरोख्त से बचाने के लिए कांग्रेस-जेडीएस और बीजेपी ने अपने-अपने विधायकों को रिजॉर्ट में शिफ्ट कर दिया है। बीजेपी को भी इस बात का डर है कि कहीं कांग्रेस-जेडीएस उनके विधायकों को ना तोड़ ले। दूसरी तरफ, बागी विधायकों को मनाने की कोशिशें भी जारी हैं और इसी कोशिश में कर्नाटक कांग्रेस के 'संकटमोचक' डीके शिवकुमार इस्तीफा देने वाले एमटीबी नागराज से मिलने पहुंचे थे।
डीके शिवकुमार बोले- नागराज रहेंगे हमारे साथ
डीके शिवकुमार के बाद डिप्टी सीएम जी परमेश्वर भी नागराज के घर पहुंचे थे। इन नेताओं के बीच करीब 40 मिनट से अधिक बातचीत हुई। इस बैठक के बाद एमटीबी नागराज ने ऐसे संकेत दिए कि वे सरकार के साथ वापस लौट सकते हैं। डीके शिवकुमार के साथ घर से बाहर आए बागी विधायक एमटीबी नागराज ने मीडियाकर्मियों से बात करते हुए कहा, ' हालात ऐसे बन गए थे कि हम लोगों को इस्तीफा देना पड़ा, लेकिन डीके शिवकुमार और अन्य नेता हमारे पास आए और उन्होंने इस्तीफा वापस लेने का अनुरोध किया।' नागराज और डीके शिवकुमार एक-दूसरे के गले भी लगे।
मैं के. सुधाकर राव से बात करूंगा- बागी विधायक
बागी विधायक ने कहा, 'मैं के. सुधाकर राव से बात करूंगा और देखते हैं कि आगे क्या हो सकता है। आखिरकार, हमनें कांग्रेस में दशकों बिताए हैं।' जबकि डीके शिवकुमार ने सभी बागी विधायकों के वापस आने को लेकर भरोसा जताया। उन्होंने कहा, 'हमें एक साथ रहना चाहिए और एक साथ मरना चाहिए, हमनें 40 सालों तक एक साथ पार्टी के लिए काम किया है। हर परिवार में उतार-चढ़ाव आते हैं। इन बातों को भूलकर आगे बढ़ना चाहिए। खुशी है कि नागराज ने हमें आश्वासन दिया है कि वह हमारे साथ आएंगे।'
16 विधायकों के इस्तीफे से गहराया संकट
दरअसल, 16 बागी विधायकों के इस्तीफे के बाद कुमारस्वामी सरकार पर खतरे के बादल मंडराने लगे। इस्तीफा देने के बाद बागी विधायक मुंबई पहुंच गए जहां वे एक होटल में ठहरे हुए हैं। जब उनसे मिलकर मामले को सुलझाने की डीके शिवकुमार ने कोशिश की, तब उन्होंने कांग्रेस नेता से मिलने से इनकार कर दिया था और मुंबई पुलिस से अपने लिए सुरक्षा की मांग भी कर डाली, जिसके बाद पुलिस ने डीके शिवकुमार को होटल में दाखिल होने की अनुमति नहीं दी थी। हालांकि, डीके शिवकुमार ने विधायकों से बात कर मामले को सुलझाने की कोशिशें जारी रखीं।