कोरोना वायरस डाटा इकट्ठा करने गई आशा वर्कर से मारपीट में 5 गिरफ्तार, पीड़िता ने कही ये बात
नई दिल्ली। कर्नाटक की आशा वर्कर कृष्णावेणी के साथ मारपीट के मामले में 5 लोगों को गिरफ्तार किया है। कृष्णावेणी के साथ बेंगलुरू के बयातारायनपुरा में बुधवार को तब मारपीट हुई थी जब वो कोरोना वायरस पर डाटा जुटाने के लिए गई थी। जिसके बाद पुलिस ने उनकी शिकायत पर 5 लोगों को गिरफ्तार किया है। इस पर आशा वर्कर ने कहा कि वो पुलिस की कार्रवाई से खुश हैं।
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कृष्णावेणी ने आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद कहा, उस इलाके में एक पॉजिटिव केस आने के बाद हम पिछले 14 दिनों से सर्वे कर रहे थे। बुधवार को एक शख्स आया और पूछने लगा कि आप क्यों ये जानकारियां ले रहे हैं हमने बताया कि एक पॉजिटिव केस है। उन्होंने मस्जिद से ऐलान करवा दिया कि कोई जानकारी मत देना। उसके बाद वो सभी घरों से बाहर आए और मुझ पर हमला किया, मेरा बैग और मोबाइल छीन लिया। मैं खुश हूं कि 5 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। उन्हें मस्जिद में घोषणा नहीं करनी चाहिए थी हम समाज की भलाई के लिए काम करते हैं।
आशा वर्कर कृष्णावेणी ने एक दिन पहले वीडियो जारी कर बताया था कि वो बेंगलुरू के बयातारायनपुरा में कोरोनावायरस पर डाटा जुटाने के लिए गई थी। इसी दौरान उसके साथ मारपीट की गई है। कृष्णावेनी ने बताया है कि परेशानी तब शुरू हुई जब एक मस्जिद से ऐलान किया गया कि आशा वर्करों को कोई जानकारी ना दी जाए।
वीडियो में आशाकर्मी ने कहा था कि हम कोरोना वायरस के खिलाफ जागरूकता पैदा करने के लिए घर-घर जा रहे हैं और परिवारों से जानकारी ले रहे हैं। यहां जब हम पहुंचे तो लोगों ने हम पर सवाल उठाए और पूछा कि किसके कहने पर हम यहां आए हैं। मस्जिद से ऐलान हो गया तो लोगों ने हमारे साथ बुरा बर्ताव किया। मैं पिछले 5 सालों से आशा कर्मी हूं, मेरे साथ कभी इस तरह की घटना नहीं हुई।
कोरोना पर डाटा इकट्ठा कर रही आशा वर्कर से मारपीट, वीडियो जारी कर बताया- मस्जिद से हुआ ऐलान