पुलवामा हमले के बाद भीड़ का निशाना बनी कराची बेकरी के मालिक बोले, हम पाकिस्तानी नहीं
बेंगलुरू। बेंगलुरू की कराची बेकरी को कुछ लोगों के निशाना बनाए जाने के बाद इसके मालिकों ने कहा है कि नाम को लेकर कोई भी किसी उलझन में ना रहें, हम भी भारतीय ही हैं। बेकरी के नाम को लेकर भीड़ ने इसे निशाना बनाया था। भीड़ का कहना था कि भारत में कोई कराची नाम (पाकिस्तान का शहर) नहीं रखा जा सकता। जिसके बाद साइन बोर्ड पर 'कराची' को ढ़क दिया गया था।
ये पूरी तरह से भारतीय कंपनी
कराची बेकरी का नाम बदलने की मांग पर इसके मालिकों ने सफाई देते हुए कहा है कि उनकी कंपनी का पाकिस्तान से कोई संबंध नहीं है, ये पूरी तरह से भारतीय कंपनी है। कराची बेकरी सिर्फ ब्रांड नाम है। 53 साल पहले एक सिंधी परिवार के खानचंद रामनामी ने हैदराबाद में कराची बेकरी शुरू की थी। जिसकी शाखाएं कई शहरों में हैं। बेंगलुरू के इंदिरानगर में 100 फीट रोड पर ये बेकरी है।
शुक्रवार को भीड़ ने किया था हंगामा
बेंगलुरु के कराची बेकरी नाम आउटलेट के सामने शुक्रवार शाम को कुछ लोगों की भीड़ इकट्ठा हो गई थी। इस भीड़ ने पुलवामा हमले में पाक की भूमिका का सवाल करते हुए कराची नाम पर नाराजगी जाहिर की और तोड़फोड़ पर उतारू हो गई। भीड़ ने कहा कि कराची बेकरी पाकिस्तान का आउटलेट है। इसके बाद वो लोग इसका विरोध करने लगे। जिसके बाद साइनबोर्ड पर लिखे कराची को कवर कर भीड़ को शांत किया गया।
पुलवामा हमले के बाद देशभर में प्रदर्शन
14 फरवरी को पुलवामा हमले के बाद देशभर में विरोध प्रदर्शन हुए हैं। कई जगहों से कश्मीरी छात्रों और व्यापारियों के खिलाफ धमकी और उत्पीड़न की भी बातें सामने आई थीं। 14 फरवरी को कश्मीर के पुलवामा में सीआरपीएफ के काफिले पर फिदायीन हमला हुआ था। इसमें 40 जवानों की जान चली गई। इसकी जिम्मेदारी जैश-ए-मोहम्मद नाम के संगठन ने ली है। जिसका चीफ पाकिस्तान का मसूद अजहर है।
बेंगलुरु में कराची बेकरी को लेकर बवाल, विरोध के बाद छुपाना पड़ा आउटलेट्स का नाम