पाक पर भारतीय विदेश मंत्रालय का बयान, कहा- चाहते हैं सामान्य रिश्ते लेकिन मुख्य मुद्दों पर नहीं बनी बात
नई दिल्ली: पिछले 9 महीनों से लद्दाख में चीन के साथ भारत का विवाद जारी है। आए दिन पाकिस्तान भी अंतरराष्ट्रीय सीमा और एलओसी पर सीजफायर का उल्लंघन करता रहता है। इस बीच भारतीय सेना के डायरेक्टर जनरल ऑफ मिलिट्री ऑपरेशन ने पाकिस्तान में अपने समकक्ष से हॉटलाइन पर बात की। इस दौरान दोनों पक्षों ने एलओसी के साथ ही दूसरे क्षेत्रों में समझौतों, सहमतियों और युद्धविराम का कड़ाई से पालन करने पर सहमति व्यक्त की है। ये समझौता 24-25 फरवरी की मध्य रात्रि से लागू हो गया है। अब इस मामले में भारतीय विदेश मंत्रालय की भी प्रतिक्रिया आ गई है।
मामले में भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा कि हमने पहले ही साफ कर दिया था कि भारत पाकिस्तान के साथ सामान्य पड़ोसी देशों वाले संबंध रखता है। हमने हमेशा ये सुनिश्चित किया है कि अगर हम किसी शांतिपूर्ण और द्विपक्षीय तरीके से मुद्दों का समाधान करना चाहते हैं, तो महत्वपूर्ण मुद्दों पर हमारी स्थिति अपरिवर्तित रहेगी। उन्होंने आगे कहा कि मुझे नहीं लगता कि इसे दोहराने की जरूरत है। भारत की एक स्पष्ट स्थिति है कि पाकिस्तान के साथ बातचीत तब तक नहीं हो सकती जब तक वो आतंकवादियों और घुसपैठियों का समर्थन बंद नहीं करता।
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सूत्रों के मुताबिक भारत संघर्ष विराम समझौते को एक सकारात्मक कदम के रूप में देखता है लेकिन वो समय-समय पर इसकी जांच करता रहेगा। नई दिल्ली बारीकी से देखेगा कि क्या युद्ध विराम समझौते के बाद सीमा पार आतंकी गतिविधियां कम हुई हैं या नहीं। सूत्रों का कहना है कि अगर प्रतिबद्धता ऐसी ही बनी रहती है, तो नियंत्रण रेखा के पास बसे लोगों के लिए ये काफी अच्छा होगा। जब भी पाकिस्तान गोलाबारी करता है तो भारत भी उसका करारा जवाब देता है। ऐसे में सीमा के पास बसे लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है।