विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा- चीन बॉर्डर पर स्थिति बहुत गंभीर
नई दिल्ली। विदेश मंत्री एस जयशंकर आज रूस के लिए रवाना होंगे। 10 सितंबर को उनकी अपने चीनी समकक्ष वांग वाई के साथ मुलाकात होने वाली है। इस मीटिंग से पहले जयशंकर ने कहा है कि लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (एलएसी) पर हालात बेहद गंभीर हैं। इससे पहले जयशंकर ने एक बड़ा बयान दिया है। विदेश मंत्री ने कहा है कि बॉर्डर पर हालातों को रिश्तों की वर्तमान स्थिति से अलग नहीं किया जा सकता है। उन्होंने इसके साथ ही इस तरफ इशारा किया कि चीनी विदेश मंत्री के साथ कई अहम मुद्दों पर चर्चा होने वाली है।
Recommended Video
यह भी पढ़ें-10 सितंबर को मॉस्को में होगी लद्दाख के हालातों पर चर्चा!
शांति और स्थिरता रिश्तों का आधार
एस जयशंकर ने कहा कि वर्तमान स्थिति बहुत ही ज्यादा गंभीर है और इस पर दोनों पक्षों के बीच राजनीतिक स्तर पर गहन चर्चा की सख्त जरूरत है। एय जयशंकर नौ से 11 सितंबर तक मॉस्को में होंगे। उन्होंने कहा, 'अगर बॉर्डर पर शांति और स्थिरता नहीं है तो फिर संपूर्ण रिश्ते पहले जैसे नहीं हो सकते हैं।' उन्होंने आगे कहा, 'अगर आप पिछले 30 वर्षों को देखें तो बॉर्डर पर शांति और स्थिरता तो थी लेकिन समस्याएं भी मौजूद थीं। मैं इससे इनकार नहीं कर रहा हूं कि उससे ही रिश्तों में आगे तरक्की मालूम पड़ती। चीन, भारत का दूसरा सबसे बड़ा व्यापार साझीदार बन गया, इससे स्पष्ट है कि शांति और स्थिरता ही रिश्तों का आधार है।'
एक हफ्ते में दूसरी बड़ी मीटिंग
चार सितंबर को रूस की राजधानी मॉस्को में चीन के रक्षा मंत्री जनरल वेई फेंगे से भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मीटिंग की। अब 10 सितंबर को मॉस्को में विदेश मंत्री एस जयशंकर अपने चीनी समकक्ष वांग वाई से मुलाकात करेंगे। राजनाथ और चीनी जनरल की मीटिंग भारत-चीन टकराव के बीच पहली बड़ी मीटिंग थी। इस पर सबकी नजरें टिकी थीं लेकिन यह बेनतीजा खत्म हो गई। अब एक बार फिर जयशंकर और वांग वाई की मीटिंग पर नजरें टिक गई हैं। इस अहम मुलाकात से पहले एक बार फिर बॉर्डर पर हालात बिगड़े हैं। भारत और चीन की सेनाओं के बीच फायरिंग की खबरें हैं।